Mahadev case: बिलासपुर में महादेव मामले में नीतीश दीवान को प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) ने गिरफ्तार कर लिया है. कोर कमेटी सदस्य नीतीश दीवान को ईडी ने उसे कोर्ट में पेश किया.
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Mahadev App book Case: महादेव मामले को लेकर बिलासपुर से बड़ी खबर सामने आई है. महादेव मामले में कोर कमेटी में शामिल नीतीश दीवान को प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) ने गिरफ्तार कर लिया है. ईडी ने उन्हें कोर्ट में पेश किया. जहां ईडी उसे अपनी रिमांड में लेने की तैयारी कर रही है. इससे पहले नीतीश दीवान को पिछले साल 6 नवंबर को दिल्ली एयरपोर्ट से पकड़ा गया था, लेकिन ईडी ने पूछताछ के बाद उन्हें छोड़ दिया था.आपको बता दें कि नीतीश दीवान वही शख्स है. जिन्होंने आईफा अवॉर्ड्स में फिल्म इंडस्ट्री की बड़ी हस्तियों को अवॉर्ड्स दिए थे. नीतीश और उनके भाई महादेव बुक के प्रमोटर सौरभ चंद्राकर के काफी करीबी हैं.
ED की हिरासत में भेजा गया नीतीश दीवान
प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) ने महादेव ऑनलाइन जुआ गतिविधियों (Mahadev online gambling activities) को चलाने में शामिल होने के संबंध में नीतीश दीवान को गिरफ्तार किया. नीतीश दीवान की गिरफ्तारी धन शोधन निवारण अधिनियम (PMLA), 2002 के प्रावधानों के तहत की गई. उसकी गिरफ्तारी के बाद, नीतीश दीवान को रायपुर में पीएमएलए विशेष अदालत के समक्ष पेश किया गया. जहां नीतीश दीवान को 24.02.2024 तक 8 दिनों के लिए ईडी की हिरासत में भेज दिया गया है.
नीतीश दीवान का संचालकों के साथ गहरा रिश्ता
जांच के अनुसार, नीतीश दीवान यूएई में महादेव ऑनलाइन बुक के साथ काम कर रहा था. उन्हें संचालकों के साथ गहरा रिश्ता था, जिसके चलते उसे सट्टेबाजी के लिए जिम्बाब्वे भेजा गया था. नीतीश के पास संयुक्त अरब अमीरात में संपत्तियां और बैंक खाते थे, जो मनी लॉन्ड्रिंग में इस्तेमाल हुए थे. उसे महादेव ऑनलाइन बुक के अवैध गतिविधियों के बारे में जानकारी थी और उसने मनी लॉन्ड्रिंग में संचालकों की मदद की. उनके नाम पर संयुक्त अरब अमीरात में कंपनियां भी थीं, जो दुबई में काम करने वाले महादेव ऑनलाइन बुक के कर्मचारियों को वीजा सेवाएं प्रदान करती थीं.
रिपोर्ट: शैलेन्द्र सिंह ठाकुर (बिलासपुर)