Supreme Court News in Hindi: देश में बढ़ रहे साइबर अपराधों से आम लोग ही नहीं, सुप्रीम कोर्ट के जज तक परेशान हैं. एक बार तो एक ठग ने चीफ जस्टिस के नाम पर ही 500 रुपये मांग लिए. अब सुप्रीम कोर्ट इस मामले की सुनवाई करने जा रहा है.
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Supreme Court on Cyber Fraud in Hindi: साइबर ठगी का शिकार सिर्फ आम आदमी ही नहीं, हाई कोर्ट और सुप्रीम कोर्ट के जज भी हो रहे है. पिछ्ले दिनों कई ऐसे मामले सामने आए, जहां पर सेवारत/ रिटायर्ड जजों के साथ तो कहीं पर जजों के नाम पर ठगी हुई है. यहां तक कि ठगों ने चीफ जस्टिस डी वाई चंद्रचूड़ का फर्जी कोर्ट लगाकर एक बिजनेसमैन से 7 करोड़ रुपये तक ठग लिए. सुप्रीम कोर्ट में दायर एक याचिका में इन सभी घटनाओं का हवाला दिया गया है.
साइबर फ्रॉड को लेकर SC में दायर याचिका
कोर्ट में इस मसले को लेकर याचिका दायर करने वाले वकील प्रदीप यादव खुद साइबर फ्रॉड का शिकार होते बाल बल बचे, जब चंद मिनटों के अंदर उनके फोन पर एक के बाद फोन आए और जालसाजों ने उन्हें एक के बाद एक अनेक ओटीपी भेजे. उन्होंने तिलक मार्ग थाने में इसको लेकर शिकायत दर्ज भी कराई. याचिका में सुप्रीम कोर्ट के पूर्व जज की निगरानी में एक्सपर्ट कमिटी बनाने की मांग की है, जो साइबर फ्रॉड को रोकने के लिए सुझाव दे.
जजों के साथ/ उनके नाम पर जालसाजी
याचिकाकर्ता ने अपनी अर्जी में जजों के साथ या उनके नाम पर हुई जालसाजी की कई घटनाओं का हवाला दिया है.याचिका में कहा गया है :-
19 अप्रैल 2019 को देश के पूर्व चीफ जस्टिस आर एम लोढ़ा साइबर क्राइम का शिकार हो गए. एक जालसाज ने सुप्रीम कोर्ट के रिटायर्ड जज के अकाउंट का इस्तेमाल करके इमरजेंसी फंड के नाम पर उनसे 1 लाख रुपये की मांग की. जस्टिस लोढ़ा ने समझा कि उनके साथी जज ही ये मांग कर रहे है और उन्होंने मदद करने के मकसद से 1 लाख रुपये भेज दिए.
'मैं चीफ जस्टिस हूं, कैब के लिए 500 रुपये भेज दीजिए'
इसी तरह पिछले दिनों ट्विटर पर एक शख्स ने ख़ुद को चीफ जस्टिस के तौर पर पेश करते हुए एक व्यक्ति से कैब के लिए 500 रुपए की मांग कर डाली. उसने मैसेज में कहा- 'मैं चीफ जस्टिस हूं. कॉलेजियम की अर्जेंट मीटिंग है. कनॉट प्लेस में फंस गया हूं. क्या आप मुझे कैब के लिए 500 रुपये भेज सकते है. कोर्ट पहुंचते ही मैं पैसा वापस कर दूंगा'. जिस शख्स को ये मेसेज किया गया था, उसने ये ट्विटर पर पोस्ट कर दिया. इससे ये वायरल हो गया. बाद में चीफ जस्टिस के निर्देश पर इसको लेकर साइबर क्राइम की शिकायत दर्ज कराई गई.
वर्ष 2023 में बॉम्बे हाई कोर्ट के रिटायर्ड चीफ जस्टिस रमेश देवकीनंदन धानुका ने कोलाबा पुलिस स्टेशन में शिकायत दर्ज कराई कि एक अज्ञात आदमी ने उन्हें पैन कार्ड अपडेट कराने के लिए मैसेज किया. जैसे ही उन्होंने भेजे गए लिंक को ओपन कर पैन कार्ड डिटेल को भरा, उनके बैंक खाते से 49,998 गायब हो चुके थे.
चीफ जस्टिस की फर्जी वर्चुअल कोर्ट लगाई
साइबर जालसाजी को अंजाम देने वाले जालसाजों के हौसले किस कदर बुलंद है कि उन्होंने दिग्गज उद्योगपति और वर्धमान समूह के चेयरमैन एसपी ओसवाल से 7 करोड़ रुपये ठग लिए. जालसाजों ने CBI के अधिकारी बनकर एक फर्जी वर्चुअल कोर्ट रूम बना दिया. गिरोह ने चीफ जस्टिस डी वाई चंद्रचूड़ की फर्जी अदालत भी लगा दी.
NCRB के आंकड़ों का हवाला दिया
याचिका में कहा गया है कि भारत के इस वक़्त 688 मिलियन लोग है जो फेसबुक, यूट्यूब, ट्विटर, इंस्ट्राग्राम, व्हाट्सएप , स्नैप चैट का इस्तेमाल करते है.सोशल मीडिया प्लेटफार्म पर लोगों की दिलचस्पी बढ़ रही है, उसके साथ ही साइबर फ्रॉड के मामले भी बढ़ रहे है. NCRB के आंकड़ों के मुताबिक 2017 में जहां इस तरह के मामलों की संख्या 21796 थी, वहीं 2018 में यह संख्या बढ़कर 27248 हो गई.