Karauli में खाद की किल्लत, 7 घंटे इंतजार के बाद मिली यूरिया खाद
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Karauli में खाद की किल्लत, 7 घंटे इंतजार के बाद मिली यूरिया खाद

थाने से इंदिरा रसोई तक महिला-पुरुष काश्तकारों की लंबी कतार लगने के साथ खाद के कट्टे लेने के लिए जद्दोजहद होने लगी.

प्रतीकात्मक तस्वीर

Karauli: सपोटरा उपखंड में रबी की फसल के लिए उपयोगी यूरिया खाद की किल्लत के कारण शुक्रवार को 7 घंटे इंतजार के बाद पुलिस की मौजूदगी में खाद का वितरण किया गया. सपोटरा उपखंड के खाद-बीज विक्रेताओं (fertilizer and seed sellers) ने शुक्रवार सुबह खाद के बैगों से भरे तीन ट्रकों को पुलिस थाने के आगे खड़ा कर दिया, जिसके कारण प्रात: 6 बजे से आसपास के गांवों के काश्तकार खाद के लिए उमड़ पड़े. जिससे थाने से इंदिरा रसोई तक महिला-पुरुष काश्तकारों की लंबी कतार लगने के साथ खाद के कट्टे लेने के लिए जद्दोजहद होने लगी.

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इसको लेकर कृषि अधिकारी करणसिंह स्टाफ के साथ थाने में आ गए और पुलिस की मौजूदगी में सुबह 7 बजे से दोपहर 2 बजे तक 1000 बैगों का वितरण कराया गया. रबी फसल गेंहू में काश्तकारों द्वारा सिंचाई करने के लिए खाद की आवश्यकता होने के बाबजूद एक काश्तकार को मात्र दो बैग यूरिया (Urea) दिया गया. जबकि उपखंड में सरसों की पैदावार अधिक होने तथा गेंहू में पहला पानी लगने के साथ यूरिया खाद की किल्लत के बाबजूद काश्तकारों को पर्याप्त खाद नहीं मिल सकी है. 

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दूसरी ओर काश्तकारों को उत्तम यूरिया खाद की डिमांड को देखकर कृषि अधिकारियों (Agricultural Officers) द्वारा समझाईश की गई कि यूरिया खाद की किसी कंपनी के बैगों में 46 प्रतिशत नाईट्रोजन की बराबर मात्रा होती है. भीड़ के बढ़ जाने के कारण दो बार खाद वितरण बंद करना पड़ा है. तत्पश्चात 15 बैग यूरिया के रह जाने पर खाद से वंचित महिलाएं व पुरुष ट्रक पर चढ़ गए और बैगों पर कब्जा जमाने लग गए. करीब 150 काश्तकारों को बिना खाद मिले ही बैरंग लौटना पड़ा है. 
Report- Ashish Chaturvedi

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