विधानसभा में राजेंद्र राठौड़ के सवालों पर महेश जोशी ने दिया जवाब, तो उपनेता प्रतिपक्ष बोले- आप मत बोलिए कुछ चीज़ों को ढका रहने दीजिए
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विधानसभा में राजेंद्र राठौड़ के सवालों पर महेश जोशी ने दिया जवाब, तो उपनेता प्रतिपक्ष बोले- आप मत बोलिए कुछ चीज़ों को ढका रहने दीजिए

राजेन्द्र राठौड़ ने आगे कहा कि वर्तमान सरकार की नीति कई पर निगाहें कहीं पर निशाना वाली है. सारे खेल में केवल 2 इंडस्ट्री आप पूरी नीतियां बदल रहे हो. आज कहीं उल्लास हैं तो कई चेहरे गमगीन है. मैं सभापति महोदय के ख़ौफ़ से पूरी बात कह नहीं पा रहा हूं.

राजेंद्र राठौड़ और महेश जोशी

Jaipur: विधानसभा में उपनेता प्रतिपक्ष राजेंद्र राठौड़ ने चर्चा में बोलते हुए राजस्थान सरकार की आबकारी नीति पर सवाल उठाए है. उन्होंने कहा कि वहां, केवल दो कम्पनियों को लाभ देने के लिए किया जा रहा है संस्थागत भ्रष्टाचार. गंगा नगर शुगर मिल को सरकार ने दरकिनार कर दिया है. भाजपा शासन काल में सरकार ने किया था लॉटरी सिस्टम तब आरोप लगा था गली गली शराब की दुकान खोलने का लेकिन वर्तमान सरकार ने शराब की 6666 दुकाने खोल डाली इससे बुरी बात कुछ नहीं हो सकती यह शराब को बढ़ावा देना है. मद्य संयम नीति की बात किस मुंह से कर रहे है. उन्होंने आगे कहा कि पहले 1000 करोड़ और 800 करोड़ का राजस्व मिलता था. नई नीति से केवल 75 करोड़ का राजस्व मिला. पिछले दरवाजे से आप किसकी मदद करना चाहते हैं. 

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राजेन्द्र राठौड़ ने आगे कहा कि वर्तमान सरकार की नीति कई पर निगाहें कहीं पर निशाना वाली है. सारे खेल में केवल 2 इंडस्ट्री आप पूरी नीतियां बदल रहे हो. आज कहीं उल्लास हैं तो कई चेहरे गमगीन है. मैं सभापति महोदय के ख़ौफ़ से पूरी बात कह नहीं पा रहा हूं, लेकिन आज आप उदास चेहरे देख रहे हैं. आप यक़ीन मानिए जब हम आपकी तरह बैठेंगे तो मैं सारी बातें खुलकर रख पाऊंगा. इस पर महेश जोशी ने जवाब दिया तो राजेंद्र राठौड़ ने कहा कि आप मत बोलिए कुछ चीज़ों को ढका रहने दीजिए. चिकित्सा राज्य मंत्री सुभाष गर्ग ने कहा कि आज सदन के उपनेता बहुत ख़ुश हैं, उन्हें भविष्य की संभावनाएं नज़र आ रही है.

चिकित्सा मंत्री परसादी लाल मीणा ने राजेंद्र राठौड़ से कहा कि मेरे पुराने साथी आज बहुत जोश में है. 1990 से हमारा साथ है, ये लगातार जीतते आ रहे हैं, यही कहना चाहता हूं कि इतना अहम ठीक नहीं है, इससे पहले भी उत्तर प्रदेश में योगी आदित्यनाथ CM बने थे, लेकिन उसके बाद हमने राजस्थान, मध्य प्रदेश, छत्तीसगढ़ में सरकार बनायी, ये जनता किसी की भी सगी नहीं है.

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आबकारी मंत्री परसादी लाल मीणा ने कहा कि अवैध शराब की बिक्री को रोकने के लिए कई तरह के सुझाव आए हैं. मैं सदन के माननीय सदस्यों से कहना चाहता हूं अगर कहीं आठ बजे के बाद  शराब की दुकान खुलती हो तो मुझे पत्र लिखिए, मेरी जानकारी में लाइए संबंधित अधिकारी को सस्पेंड किया जाएगा. मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने सरकार बनते ही दे दिए थे दिशा निर्देश सुबह दस बजे से रात आठ बजे तक ही खुलेंगी शराब की दुकान इसकी पालना के लिए तीन साल से प्रतिबद्ध है हमारी सरकार, अगर कहीं एक दुकान की आड़ में चलाई जा रही हूँ कई दुकानें आप उनकी भी कीजिए शिकायत निश्चित तौर पर उनके ख़िलाफ़ एक्शन होगा. 

आबकारी मंत्री परसादी लाल मीणा ने कहा विपक्ष के उपनेता ने सरकार की आबकारी नीति पर सवाल उठाए हैं, लेकिन उनकी जानकारी के लिए बताना चाहता हूं लॉटरी सिस्टम के ज़रिए होता था तंत्र का दुरुपयोग एक व्यक्ति अलग-अलग नामों से डालता फार्म लॉटरी में दुकान निकली पर कर देता था उसे सबलेट, लेकिन वर्तमान प्रणाली से वही आदमी लगाता है बिड जिसे वाक़ई दुकान चलानी है. हमारी सरकार ने पिछली सरकार के मुक़ाबले कम शराब बेची है और अधिक राजस्व अर्जित किया है. ये सब जानते हैं कि टैक्सेशन के बाद राजस्थान में आबकारी विभाग से ही मिलता है सबसे अधिक राजस्व, कोविड काल में तीन महीने तक दुकानें रही थी बंद लिहाज़ा ठेकेदारों को छूट देनी पड़ी थी.

सदन में चिकित्सा विभाग की अनुदान मांगों पर मंत्री का जवाब परसादीलाल मीणा ने कहा कि कई सदस्यों ने उठाए हैं कोरोना में की गई ख़रीद पर सवाल लेकिन राजस्थान का मैनेजमेंट देखा है पुरे देश और दुनिया ने उस समय लोगों का जीवन बचाना था सबसे बड़ी प्राथमिकता, कैसे और क्या ख़रीदा जा रहा है ये महत्वपूर्ण नहीं था. राजस्थान सरकार ने लोगों का जीवन बचाने के लिए किए थे हर संभव प्रयास. मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने अपनी निजी प्लेन से मंगवाई थी अन्य राज्यों से मेडिसिन. राजस्थान की जनता को लगाए थे निशुल्क 40,000 क़ीमत के इंजेक्शन सदन में बैठे पूर्व चिकित्सा मंत्री कालीचरण सराफ और उनकी धर्म पत्नी को लगे थे इंजेक्शन. ये मुख्यमंत्री अशोक गहलोत का ही फ़ैसला था सभी सदस्यों के सहयोग से किया था निशुल्क वैक्सीन का निर्णय.

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मुख्यमंत्री अशोक गहलोत की मांग पर ही प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने देश भर में वैक्सीनेशन फ्री करने का लिया था फ़ैसला, केवल अशोक गहलोत में थी ये हिम्मत अन्य किसी राज्यों से नहीं उठती आवाज़. इसलिए प्रधानमंत्री को लेना पड़ा फ़ैसला इसके लिए हम देश के प्रधानमंत्री और भारत सरकार के आभारी है. अशोक गहलोत मुख्यमंत्री के रूप में नरेंद्र मोदी से सीनियर रहे हैं, लिहाज़ा उनकी सलाह को प्रधानमंत्री ने अहमियत दी थी. 

सदन में चिकित्सा विभाग की अनुदान मांगों पर मंत्री का जवाब परसादी लाल मीणा ने कहा औषधि नियंत्रक विभाग है, एक बड़ा झमेला हाल ही में करप्शन का जो मामला सामने आया उसमें हमने  सख़्त एक्शन लिया है. एसीबी की कार्रवाई के बाद ऊपर के अधिकारी को भी  APO किया है.

सिस्टम में कौन कौन मिले हुए हैं ये तो राजेंद्र राठौड़ और कालीचरण सर्राफ़ जो चिकित्सा मंत्री रहें बेहतर जानते हैं. मुझे तो अभी बने हुए 2 तीन महीने हुए हैं, लेकिन सभी दुकानदारों को हमने दे दिए निर्देश किसी भी तरह की रिश्वत देने की आवश्यकता नहीं है. अगर कोई पैसा मांगे तो करें विभाग के उच्चाधिकारियों या मुझे शिकायत इस पर राजेंद्र राठौड़ ने कहा सदन में इस मुद्दे पर कराई जाए बहस. चिकित्सा मंत्री ने दिया जवाब बिलकुल बहस करवाने के लिए हम तैयार है. मुख्यमंत्री अशोक गहलोत किसी भी वजह से नहीं डरते हैं, सभापति राजेन्द्र पारीक ने कहा बहस बाद में करवाना पहले अनुदान मांगों को पारित करवाए.

चिकित्सा मंत्री प्रसादी लाल मीणा ने विवाद की रेपुटेशन नीति पर सवाल उठाए कहा मंत्री बनने के बाद मैंने इस संबंध में सख़्त क़दम उठाएँ है. मुझे विराट नगर से विधायक ने की थी शिकायत, उनके क्षेत्र के पांच चिकित्सक है. जयपुर में डेपुटेशन पर पता किया CMHO से तो जानकारी मिली 70 चिकित्सक लगे हुए डेपुटेशन पर, जयपुर में अजमेर में प्रमुख शहरों में चिकित्सक हैं. सरप्लस लेकिन जहां आवश्यकता है वहां पद है ख़ाली. 

इस संबंध में सभी सदस्यों से मेरा आग्रह है कि आपको जहां चिकित्सक चाहिए वहां लगवाएं, लेकिन डेपुटेशन की नीति अब बंद होगी जहां चिकित्सक का वेतन बनता है, ये वहीं होगी पोस्टिंग किसी तरह का दबाव नहीं बनाया जाए. हम मीणा फ़क़ीर आदमी है मैं पद पर रहूं नहीं रहूं लेकिन इस नीति को मैं सही करके रहूंगा.मंत्री परसादीलाल मीणा ने मंत्री ने कई महत्वपूर्ण घोषणाएं की है. प्रदेश में बहरापन रोकथाम नीति लागू करने की घोषणा, प्रयोगशाला सहायकों का विवाद समाप्त कर 961 पदों पर नियुक्ति का रास्ता खोल दिया है.

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