Jaipur News: जयपुर का विमंदित गृह एक बार फिर से सवालों के घेरे में है.सामाजिक न्याय विभाग के अधीन आने वाले विमंदित गृह में शारीरिक और मानसिक रूप से असक्षम बच्चे रहते है.लेकिन कुछ तस्वीरों और थाने तक मामला पहुंचने के बाद विमंदित गृह की देखरेख पर सवाल खड़े हो रहे है.
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Jaipur News: जयपुर का विमंदित गृह एक बार फिर से सवालों के घेरे में है.सामाजिक न्याय विभाग के अधीन आने वाले विमंदित गृह में शारीरिक और मानसिक रूप से असक्षम बच्चे रहते है.लेकिन कुछ तस्वीरों और थाने तक मामला पहुंचने के बाद विमंदित गृह की देखरेख पर सवाल खड़े हो रहे है. आखिरकार अबकी बार विमंदित गृह से कैसी हैरान करने वाली तस्वीरे सामने आई.
2016 में दूषित पानी से 12 बच्चों की मौत के बाद एक बार फिर से जामडोली के विमंदित गृह सवालों के घेरे में घिर चुका है. विमंदित गृह से चौकाने वाली तस्वीरे सामने आई है, जिस विमंदित गृह में मानसिक और शारीरिक रूप से दिव्यांग बच्चों को आसरा दिया है. वहीं बच्ची के शरीर पर चोट के निशान की तस्वीरे सामने आई है.
इतना ही नहीं कैंपस में फर्श पर कीड़े ही कीड़े दिखाई दे रहे है.विमंदित गृह की पूर्व केयर टैकर गुंजन मीणा ने दावा किया है कि जामडोली के विमंदित गृह में बच्चों के साथ केयर टेकर मारपीट करते है.उनके बिस्तरों में कीडे़ ही कीड़े नजर आते है. हालांकि अंदर से एक बच्ची का वीडियो सामने आया है,जिसमें उनके पीछे हरे रंग की चटाई दिख रही है,उसी तरह के हरे रंग की चटाई पर कीड़े नजर आ रहे है, जबकि चोट के निशान तो अधिकतर बच्चों के ही मिलते है.क्योंकि अधिकतर बच्चे MR ही आते है.गुंजन मीणा का दावा है कि मोबाइल रिकार्डिंग के कारण ही उन्हें दिवाली से पहले हटाया गया है.
इतना ही नहीं पूरा मामला पूर्व केयर टैकर गुंजन मीणा के फोन के इर्द गिर्द नजर आ रहा है. क्योंकि कीडे़ और बच्ची के शरीर पर मारपीट की जो तस्वीरें सामने आई हैं. गुंजन ने दावा किया है कि 6 नवंबर को एमआर होम में काम करने वाली तारा,शीला,रूकमणी और सुरजीत ने उनके साथ क्वाटर पर आकर मारपीट की और मोबाइल से विमंदित गृह के सबूतों को छिपाने के लिए उनका फोन तोड़ते हुए चुराकर ले गए.
इस संबंध में गुंजन मीणा ने कानोता थाने में शिकायत दी थी,जिसके बाद उनका परिवाद दर्ज हो गया है. शिकायत में गुंजन ने विमंदित गृह के अधीक्षक पर आरोप लगाया है कि उन्होंने क्वाटर के किराए के पैसे लेने के लिए भेजा था. मेरे फोन में एमआर होम से जुड़ी कुछ पर्सनल बात थी.गौरव शर्मा का कहना है कि गुंजन शर्मा समेत कई लोग सरकारी क्वार्टर में अवैध रूप से रह रहे हैं.
सोशल जस्टिस एम्पॉवर डिपार्टमेंट के अधीन आने वाले राजस्थान का एकमात्र विमंदित गृह है,जिसमें करीब 364 बालक बालिकाए है. मानसिक और शारीरिक रूप से दिव्यांग बच्चों का सेहत का बहुत ज्यादा ख्याल रखना पड़ता है. खाने पीने की वस्तुओं से लेकर साफ सफाई का खास ध्यान रखना होता है. क्योंकि 8 साल पहले दूषित पानी से 12 बच्चों की मौत हुई थी.