बीजेपी नेता घनश्याम तिवाड़ी ने कांग्रेस को लेकर तंज कसा कि ''छाजळा बोले तो बोले, चालणी भी बोल रही'' है. वहीं तिवाड़ी ने राज्य की भजनलाल सरकार को वंडर सरकार बताया. इलेक्ट्रॉल बांड को लेकर कांग्रेस- बीजेपी एक दूसरे पर आरोप लगा रही है.
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Jaipur News : देश में इलेक्ट्रॉल बांड को लेकर बहस छिड़ी हुई. कांग्रेस- बीजेपी एक दूसरे पर आरोप लगा रही है. इस बीच सांसद और वरिष्ठ बीजेपी नेता घनश्याम तिवाड़ी ने कांग्रेस को लेकर तंज कसा कि ''छाजळा बोले तो बोले, चालणी भी बोल रही'' है. वहीं तिवाड़ी ने राज्य की भजनलाल सरकार को वंडर सरकार बताया.
भाजपा प्रदेश कार्यालय में वरिष्ठ नेता घनश्याम तिवाड़ी ने इलेक्ट्रॉल बॉन्ड को लेकर पूछे सवाल के जवाब में कहा कि जो घूसखोरी, दो नम्बर से पैसा लिया करते थे, पैसे लेकर वोट लिया करते थे. वो लोग ''छाजला बोले तो बोले चलनी बोल रही है''. मतलब कि चलनी की तरह जिस कांग्रेस में 70 छेद हैं. जिसने कोटा परमिट के आधार पर काम किया. भाजपा ने तय किया कि बैंकों के माध्यम से लेनदेन होगा.
अभी देश के जितने प्रांतों में कांग्रेस, टीमएमसी, डीएमके की सरकार है वहां ज्यादा इलेक्ट्रॉल बॉन्ड लिया है. हमारे यहां सारा काम पारदर्शिता के साथ हुआ है.
घनश्याम तिवाड़ी ने कहा कि राजस्थान में डबल इंजन सरकार ने वैट कम किया, वहीं दो रुपए केंद्र सरकार ने कम किए. इसमें भी राजस्थान सरकार ने अद्भुत काम किया. पेट्रोल-डीजल पर वैट व रेट दोनों कम की. प्रदेश के सीमावर्ती जिलों में रेट ज्यादा थी। जयपुर में 3 रुपए 60 पैसे कम हुआ और गंगानगर में 7.80 रुपए कम हुआ. अब राजस्थान में सारे जिलों में सारे पेट्रोल पम्पों पर एक ही रेट में डीजल-पेट्रोल मिलेगा.
कर्मचारियों को 46 प्रतिशत डीए मिल रहा था चार प्रतिशत बड़ाकर 1640 करोड़ का अतिरिक्त भार अपने पर वहन करते हुए लागू कर दिया. सरकार 1750 करोड़ तेल कम्पनियों को चुकाएगी.
इसके साथ ही साथ ही आश्चर्य है एसआईटी पहले भी आज भी है. एसआईटी ने गठन के बाद 65 से अधिक को गिरफ्तार किया है. इनमें 20 लोग वो हैं जो पेपर परीक्षा दी पेपर लीक के मामलों में शामिल हैं. कोयला की निविदाएं जारी की राज्य सरकार ने पावर हाउस किए कोयला पहुंचाने की व्यवस्था की. राजस्थान में उर्जा बिजली का असर महंगाई पर पड़ेगा महंगाई कम होना शुरू हो जाएगी. डीजल पेट्रोल के रेट कम होने पर महंगाई कम होना शुरू हो जाएगी.
कांग्रेसी कर्मचारियों में भ्रम फैला रहे थे कि सरकार ऐसा कर देगी वैसा कर देगी. भजनलाल सरकार ने सारी आशंकाओं को निर्मूल कर दिया है. ईआरसीपी का समझौता करके भारत मध्यप्रदेश और राजस्थान का एतिहासिक फैसला किया जो 21 जिलों में काम आएगा. इतने बरसों से पेंडिंग योजना को पूरा कर दिया. तीन महीने में किए गए कार्यों को देखते हुए भजन सरकार को वंडर गर्वनमेंट करने में कोई अतिश्योक्ति नहीं है.