Nagaur news: नावां स्टेशन पर ट्रेनों के ठहराव और सुविधाओं की मांग, धरने पर बैठकर महा आंदोलन शुरू
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Nagaur news: नावां स्टेशन पर ट्रेनों के ठहराव और सुविधाओं की मांग, धरने पर बैठकर महा आंदोलन शुरू

Nagaur news: सरकार को सालाना 100 करोड़ रुपये का राजस्व देने के बावजूद जोधपुर मंडल का नावाँ सिटी रेलवे स्टेशन बदहाल है, न ही तो स्टेशन पर बुनियादी सुविधा यात्रियों के लिए उपलब्ध है, और ना ही मांग के बावजूद ट्रेनों का ठहराव किया जा रहा है. 

 Nagaur news: नावां स्टेशन पर ट्रेनों के ठहराव और सुविधाओं की मांग, धरने पर बैठकर महा आंदोलन शुरू

Nagaur news: सरकार को सालाना 100 करोड़ रुपये का राजस्व देने के बावजूद जोधपुर मंडल का नावाँ सिटी रेलवे स्टेशन बदहाल है, न ही तो स्टेशन पर बुनियादी सुविधा यात्रियों के लिए उपलब्ध है, और ना ही मांग के बावजूद ट्रेनों का ठहराव किया जा रहा है. लंबे समय से की जा रही मांगे पूरी ना होने पर नावाँ वासियो ने रेलवे स्टेशन के सामने ही धरने पर बैठकर महा आंदोलन शुरू कर दिया है, और इस आंदोलन को नावाँ का ही नहीं बल्कि पूरे उपखंड के लोगों का साथ मिल गया है.

 ये जोधपुर मंडल का जोधपुर जयपुर मार्ग के बीच में आने वाला नावाँ सिटी रेलवे स्टेशन है, जो लंबे समय से बदहाली के दौर से गुजर रहा है. नावाँ शहर ,नमक मंडी के लिए मशहूर है और यहां ट्रेन के जरिए देश भर में नमक भेजा जाता है. यही वजह है कि नावा सिटी रेलवे स्टेशन से सरकार को सालाना 100 करोड रुपए से ज्यादा का राजस्व देता है. लेकिन इसके बावजूद नावाँ सिटी रेलवे स्टेशन से सौतेला व्यवहार हो रहा है स्टेशन पर जरूरी मूलभूत सुविधाएं भी उपलब्ध नही है. 

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 ट्रेनों के ठहराव की मांग 

पिछले 14 साल से नावाँ के सामाजिक कार्यकर्ता मनोज गंगवाल अपनी टीम के साथ स्टेशन पर सुविधाओं के विस्तार और ट्रेनों के ठहराव की मांग करते रहे हैं. वाजिब मांगें पूरी नहीं होने पर आक्रोशित नावाँ वासियो ने रेलवे स्टेशन के बाहर धर्म शुरू कर महा आंदोलन का आगाज कर दिया है. मनोज गंगवाल इस महा आंदोलन में 13 अगस्त से भूख हड़ताल पर बैठे हैं और उनके साथ रोजाना दर्जनों लोग क्रमिक अनशन कर रहे हैं. केन्द्र सरकार व रेलवे के अधिकारियों की सद्बुद्धि के लिए सुंदरकांड भी कराया जा चुका है.

जोधपुर मंडल में सबसे अधिक राजस्व देने वाले नावां सिटी के रेलवे स्टेशन पर ट्रेनों के ठहराव और सुविधाओ के विस्तार को लेकर पिछले 5 दिन से महाआंदोलन जारी है. महाआंदोलन के समर्थन में रोजाना क्षेत्र के विभिन्न समाजों, सामाजिक संस्थाओं सहित आसपास के कई गांव आ रहे है. पिछले 5 दिन से महा आंदोलन जारी रहने के दौरान, रेलवे विभाग की ओर से कोई ध्यान नहीं दिए जाने से जनता में आक्रोश बढ़ता जा रहा है. 

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लोगों का कहना है..

लदान, नमक श्रमिकों के साथ ही ट्रेक्टर यूनियन नावां ने भी आंदोलन में समर्थन किया है. लोगों का कहना है कि राजस्थान सहित देश भर के कई स्टेशन पर सरकार की अमृत भारत योजना में शामिल किए गए हैं लेकिन नावाँ रेलवे स्टेशन को इस योजना से नहीं जोड़ा गया जो की सही नहीं है,नावाँ रेलवे स्टेशन को योजना में शामिल करना चाहिए क्योंकि नावाँ 100 करोड रुपए से ज्यादा का राजस्व देता है और योजना में कई ऐसे स्टेशन शामिल किए गए हैं.

जो रेलवे को नाम मात्र का राजस्व देते है. लोगों ने कहा कि बरसों से ट्रेनों के ठहराव की मांग वे कर रहे हैं लेकिन बजाय यहां किसी ट्रेन का ठहराव करने के, कोरोना काल से पहले तक चलने वाली दो ट्रेनों का ठहराव कोरोना काल के दोरान यहां बंद कर दिया गया जो अब तक बंद है. लोगों ने उनकी मांगे परा नहीं किए जाने पर उग्र आंदोलन की चेतावनी भी दी है.

 

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