Helicopter Crash: अनिल सिंह मुंबई के अंधेरी उपनगर में पॉश आवासीय सोसायटी में रह रहे थे. उनके परिवार में पत्नी शिरीन आनंदिता और बेटी फिरोजा सिंह है. आनंदिता ने कहा कि वह अपनी बेटी के साथ अपने पति के अंतिम संस्कार के लिए नई दिल्ली जाएंगी.
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Kedarnath Yatra: उत्तराखंड में हादसे का शिकार हुए हेलीकॉप्टर के पायलट अनिल सिंह ने एक दिन पहले जब पत्नी से बात की थी तो उनके अंतिम शब्द थे, मेरी बेटी का ख्याल रखना. उसकी तबीयत ठीक नहीं है. उत्तराखंड के केदारनाथ में गरूड़चट्टी में मंगलवार को एक निजी कंपनी का हेलीकॉप्टर दुर्घटनाग्रस्त हो गया था, जिससे उसमें सवार 6 श्रद्धालुओं समेत सात लोगों की मृत्यु हो गई थी.
सिंह (57) मुंबई के अंधेरी उपनगर में पॉश आवासीय सोसायटी में रह रहे थे. उनके परिवार में पत्नी शिरीन आनंदिता और बेटी फिरोजा सिंह है. आनंदिता ने कहा कि वह अपनी बेटी के साथ अपने पति के अंतिम संस्कार के लिए नई दिल्ली जाएंगी. पेशे से फिल्म लेखिका आनंदिता ने कहा, आखिरी बार उनका फोन सोमवार को आया था. मेरी बेटी स्वस्थ नहीं है. उन्होंने मुझे उसकी देखभाल करने के लिए कहा था.
15 साल से रह रहे थे मुंबई में
मूल रूप से पूर्वी दिल्ली के शाहदरा इलाके के निवासी सिंह पिछले 15 साल से मुंबई में रह रहे थे. इससे पहले उत्तराखंड पुलिस के एक अधिकारी ने पुष्टि की कि हादसे में मारे गए पायलट सिंह मुंबई से थे. बहरहाल, आनंदिता ने कहा कि उन्हें किसी से कोई शिकायत नहीं है क्योंकि आखिरकार दुर्घटना, दुर्घटना है. उन्होंने कहा कि हालांकि, पर्वतीय राज्य में हमेशा खराब मौसम का सामना करना पड़ता है.
वहीं विमानन नियामक डीजीसीए ने केदारनाथ हेलीकॉप्टर दुर्घटना की जांच शुरू कर दी है. डीजीसीए के एक वरिष्ठ अधिकारी ने कहा कि जांच के लिए जल्द ही एक टीम दुर्घटनास्थल पर भेजी जाएगी. तीर्थयात्रियों को लेकर जा रहा हेलीकॉप्टर सुबह करीब 11.40 बजे रुद्रप्रयाग में गरुड़चट्टी के पास केदारनाथ मंदिर से उड़ान भरने के बाद दुर्घटनाग्रस्त हो गया.
गुप्तकाशी के लिए हुआ था रवाना
डीजीसीए अधिकारी ने कहा, आर्यन एविएशन बेल-407 हेलीकॉप्टर वीटी-आरपीएन यात्रियों के साथ केदारनाथजी धाम से गुप्तकाशी के लिए रवाना हुआ था. गरुड़ चट्टी के पास एक घाटी में एक तेज आवाज सुनाई दी और हेलीकॉप्टर में आग लग गई.
इससे पहले, इस साल अगस्त में केदारनाथ मंदिर में तीर्थयात्रियों को ले जाने वाले पांच हेलीकॉप्टर ऑपरेटरों पर डीजीसीए ने प्रत्येक पर 5-5 लाख रुपये का जुर्माना लगाया था. सही उड़ान रिकॉर्ड नहीं रखने के लिए ऑपरेटरों पर जुर्माना लगाया गया था. नियामक ने सुरक्षा नियमों की धज्जियां उड़ाने के लिए दो अन्य ऑपरेटरों के अधिकारियों को भी तीन महीने के लिए निलंबित कर दिया था.
(इनपुट-पीटीआई)
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