मध्य प्रदेश के उलेमा लव जेहाद के खिलाफ हैं और यही कारण है कि ऑल इंडिया उलेमा बोर्ड के प्रदेश अध्यक्ष काजी सैयद अनस अली नदवी ने तमाम काजियों को चिट्ठी लिखकर कहा है कि माता-पिता की सहमति के बिना निकाह ना पढ़ा जाए.
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भोपाल: मध्य प्रदेश के उलेमा लव जेहाद के खिलाफ हैं और यही कारण है कि ऑल इंडिया उलेमा बोर्ड के प्रदेश अध्यक्ष काजी सैयद अनस अली नदवी ने तमाम काजियों को चिट्ठी लिखकर कहा है कि माता-पिता की सहमति के बिना निकाह ना पढ़ा जाए. जो ऐसा करेगा उसके खिलाफ कार्रवाई की जाएगी.
बता दें कि देश के अन्य हिस्सों के साथ मध्य प्रदेश में भी लव जेहाद के कई मामले सामने आए हैं, जिससे विवाद और तनाव के हालात भी बने हैं. इसके मद्देनजर उलेमा बोर्ड ने एक बड़ा फैसला लिया है. उलेमा बोर्ड के प्रदेश अध्यक्ष नदवी का कहना है कि लव जेहाद के मामले नहीं होने चाहिए.
सूत्रों का कहना है कि ऐसे शिकायतें आई हैं जिसमें कई युवक और युवतियां अपने नाम बदलकर काजी से निकाह पढ़वा लेते हैं. उसी के बाद उलेमा बोर्ड ने ये बड़ा फैसला लिया है.
उलेमा बोर्ड के प्रदेश अध्यक्ष नदवी की मानें तो उन्हें इस बात की शिकायतें मिल रही हैं कि दो अलग धर्म के लोगों का चोरी-छिपे निकाह करवा दिया जाता है, जिस पर बाद में बवाल होता है.
माता-पिता की सहमति के बिना और उनकी उपस्थिति के बिना निकाह करवाया जाना उचित नहीं है. इसलिए जरूरी है कि निकाह रजिस्ट्रेशन करते समय ही जरूरी कागजात की जांच कर ली जाए. जब पूरी तरह संतुष्ट हो जाएं तभी निकाह करवाएं.
काजी अनस नदवी ने निकाह पढ़ने वाले काजियों को इस बात की हिदायत दी है कि वे नियम कायदों का उल्लंघन ना करें, ऐसा करने पर उनके खिलाफ कार्रवाई की जाएगी.