इस बस में एक बार में अधिकतम 40 लोग सफर कर सकते हैं. इनमें से 2 सीटें दिव्यांग लोगों के लिए आरक्षित की गई हैं. इतना ही नहीं दिव्यांजन को बस में चढ़ने-उतरने में परेशानी न हो इसे ध्यान में रखते हुए इनके लिए रैंप बनाई गई है.
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गाजियाबाद: अगर आप गाजियाबाद (Ghaziabad) में रहते हैं और बस से सफर करते हैं तो यह खबर आपके लिए है. अब आपका सफर आसान और आरामदायक होने जा रहा है. लंबे इंतजार के बाद अब शहर में इलेक्ट्रिक बसों (Electric Bus) की शुरुआत कर दी गई है. आज सुबह से ई-बसों (E-Bus) को रोड़ पर उतार दिया गया है. बीते दिन केन्द्रीय राज्य मंत्री और गाजियाबाद के सांसद वीके सिंह ने 5 बसों को झंडी दिखाकर पंडित दीनदयाल उपाध्याय ऑडिटोरियम से रवाना किया. हालांकि जिले में 20 बसें चलाईं जानी थीं, लेकिन फिलहाल 5 बसों को ही चलाया गया है. आने वाले समय में 15 बसों को भी शहर में संचालित कर दिया जाएगा.
इस रूट से शुरू हुई बस सेवा
जानकारी के मुताबिक फिलहाल केवल एक रूट पर ई-बस का संचालन शुरू किया है. यह बस आनंद विहार दिल्ली बार्डर से एएलटी सेंटर के बीच चलेगी. दूसरी बसों का संचालन भी जल्द ही शुरू कर दिया जाएगा. वहीं बाकी बसें आनंद विहार से चलकर डाबर, वैशाली, मेरठ रोड तिराहे से होकर मुरादनगर तक करीब 33 किलोमीटर की दूरी 2 घंटे में पूरी करेगी. तीसरी बस दिलशाद गार्डन से चलकर शहीद नगर, मोहननगर, नया बस अड्डा, पुराना बस अड्डा, हापुड़ चुंगी गोविदपुरम के 20 किलोमीटर के सफर को करीब 1 घंटा 15 मिनट में तय करेगी. बसों के लिए अकबरपुर बहरामपुर में चार्जिंग स्टेशन और शेड भी बनाया गया है.
यह है बस की खासियत
बता दें इस बस में एक बार में अधिकतम 40 लोग सफर कर सकते हैं. इनमें से 2 सीटें दिव्यांग लोगों के लिए आरक्षित की गई हैं. इतना ही नहीं दिव्यांजन को बस में चढ़ने-उतरने में परेशानी न हो इसे ध्यान में रखते हुए इनके लिए रैंप बनाई गई है. बस की स्पीड 60 किलोमीटर प्रतिघंटा है. इससे यात्रियों के समय की भी बचत होगी. इसके अलावा बस को एक बार चार्ज करने पर यह करीब 140 किलोमीटर चल सकेगी. इस इलेक्ट्रिक बस की सर्विस सुबह 6 बजे से रात 10 बजे तक होगी.
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बस में यात्रियों के लिए यह सुविधा होगी मौजूद
जानकारी के मुताबिक, शहर में फिलहाल 5 बसों को शुरू गया है, लेकिन कुछ समय बाद इनकी संख्या में बढ़ोतरी की जाएगी. ताकि शहर के लोगों को सफर करने में कोई परेशानी न हो. इन ई-बसों में 28 सीटे होंगी, जो कि लो-फ्लोर होंगी. यह बसें पूरी तरह वातानुकूलित (air conditioned) होंगी. महिलाओं की सुरक्षा को ध्यान में रखते हुए हर बस में पैनिक बटन भी दिया गया है, जिसे सीधा पुलिस कंट्रोल रूम से कनेक्ट किया जाएगा. साथ ही इनमें सीसीटीवी कैमरे लगाए गए हैं. बात करें किराए तो न्यूनतम किराया 10 रुपये और अधिकतम किराया 40 रुपये होगा. मेरठ मंडल के अधिकारी का कहना है कि इलेक्ट्रिक बसों के चलने से शहर में प्रदूषण पर भी नियंत्रण रखा जा सकेगा.