भारतीय रेल (Indian Railway) नेटवर्क की गिनती दुनिया के सबसे बड़े रेल नेटवर्क में होती है. हर स्टेशन पर यात्रियों की सुविधाओं के लिए वहां पर पूछताछ केंद्र से लेकर स्टेशन मास्टर का दफ्तर मौजूद होता है.
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नई दिल्ली: भारतीय रेल (Indian Railway) नेटवर्क की गिनती दुनिया के सबसे बड़े रेल नेटवर्क में होती है. हर स्टेशन पर यात्रियों की सुविधाओं के लिए वहां पर पूछताछ केंद्र से लेकर स्टेशन मास्टर का दफ्तर मौजूद होता है. रेलवे सफर के लिए रेल हेल्प लाइन नंबर 139 पर जानकारी लेने की सुविधा के साथ, रेलवे और IRCTC के एप के जरिए भी कोई भी जानकारी चुटकियों में मिल जाती है.
इसी तरह आपने अपने शहर के रेलवे स्टेशन में उसकी पहचान से जुड़ा साइन बोर्ड (Sign Borad) भी देखा होगा. पीले रंग के इस बोर्ड पर हिंदी और अंग्रेजी के साथ-साथ वहां की स्थानीय भाषा में भी स्टेशन का नाम लिखा होता है. रेलवे स्टेशन के नाम के बोर्ड के निचले हिस्से पर उस स्टेशन से समंदर तल की ऊंचाई का भी जिक्र होता है. जैसे MSL 214-42 Mts. अलग अलग रेलवे स्टेशन पर ये संख्या अलग-अलग होती है. क्या आपको इस MSL का मतलब पता है, अगर नहीं तो आइये हम बताते हैं.
देश के लगभग सभी रेलवे स्टेशन के बोर्ड पर समंदर तल से ऊंचाई लिखी जाती है. देखा जाए तो एक आम मुसाफिर को इससे कोई लेना-देना नहीं होता लेकिन ये संकेत किसी भी ट्रेन चालक (Train Driver) और गार्ड के लिए बेहद जरूरी होता है. क्योंकि ये उस स्टेशन से गुजरने वाले सभी मुसाफिरों की सुरक्षा से जुड़ा संकेत होता है. हालांकि रेलवे के पायलट यानी चालक अपना काम बखूबी जानते हैं इसके बावजूद कुछ प्रोटोकॉल ऐसे होते हैं शुरुआत से ही फॉलो किया जा रहा है.
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ऐसे में आपको भी ये पता होना चाहिए की आखिर इस एमएसएल (Mean Sea Level ) का क्या मतलब होता है ये लिखा होना क्यों जरूरी होता है. दरअसल किसी भी रेलवे स्टेशन पर समंदर तल से ऊंचाई का जिक्र ट्रेन के ड्राइवर और गार्ड की मदद के लिए किया जाता है. जिससे ट्रेन के ड्राइवर को इस बात की जानकारी हो सके कि आगे अगर हम ऊंचाई की तरफ ट्रेन को लेकर चल रहे हैं तो हमें ट्रेन की स्पीड कितनी रखनी है.
वहीं गाड़ी के इंजन को कितनी पावर सप्लाई देनी है. जिससे वो आसानी से ऊंचाई की तरफ आगे बढ़ सके. इसी तरह अगर ट्रेन समंदर तल के लेवल से नीचे की तरफ जा रही है तो ड्राइवर को ट्रेन की गति कितनी रखनी होगी. वहीं, अगल ट्रेन नीचे की और जाएगी तो किस रफ्तार में गाड़ी आगे बढ़ानी है. यही सब जानने के लिए समंदर तल की ऊंचाई (MSL) लिखी जाती है.
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