'थ्रीजी रोमिंग मामले में पीएम हस्तक्षेप करें'
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'थ्रीजी रोमिंग मामले में पीएम हस्तक्षेप करें'

दूरसंचार मंत्रालय और कंपनियों के बीच थ्रीजी रोमिंग समझौते से जुड़े मतभेद के बीच भारती एयरटेल और वोडाफोन समेत प्रमुख दूरसंचार कंपनियों के मुख्य कार्यकारियों ने इस मामले में प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह से हस्तक्षेप की अपील की है।

नई दिल्ली : दूरसंचार मंत्रालय और कंपनियों के बीच थ्रीजी रोमिंग समझौते से जुड़े मतभेद के बीच भारती एयरटेल और वोडाफोन समेत प्रमुख दूरसंचार कंपनियों के मुख्य कार्यकारियों ने इस मामले में प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह से हस्तक्षेप की अपील की है।

 

प्रधानमंत्री को लिखे एक संयुक्त पत्र में कंपनियों ने कहा, हम आपके तुरंत हस्तक्षेप की मांग करते हैं ताकि अनुबंध और वायदों को पूरा किया जा सके अन्यथा एक सम्मानजनक, पारदर्शी नीलामी की प्रतिष्ठा को नुकसान पहुंचेगा जिसकी भरपाई नहीं की जा सकेगी। भारती एंटरप्राईजेज के अध्यक्ष और समूह के मुख्य कार्याधिकारी सुनील भारती मित्तल, आदित्य बिड़ला समूह के अध्यक्ष कुमार मंगलम बिड़ला और वोडाफोन समूह के मुख्य कार्याधिकारी वित्तोरियो कोलाओ ने संयुक्त रूप से एक पत्र लिखा है।

 

मामला प्रमुख सेवा प्रदाताओं के बीच देश भर में थ्रीजी रोमिंग नेटवर्क मुहैया कराने से जुड़े समझौते से संबद्ध है जिनमें भारती एयरटेल, वोडा फोन और आईडिया सेल्यूलर शामिल हैं। टाटा टेलीसर्विसेज और एयरसेल जैसे अन्य सेवा प्रदाताओं ने छह सर्कल में सेवाएं पेश करने के लिए इसी तरह के समझौते किए हैं।

 

कंपनियों के बीच हुआ थ्रीजी रोमिंग समझौता दूरसंचार विभाग को पसंद नहीं आया। विभाग को लगता है पिछले साल नीलामी के बाद जून में परिचालकों के साथ जिस थ्रीजी स्पेक्ट्रम समझौते पर हस्ताक्षर किया गया था इस गठजोड़ से उन शर्तों का उल्लंघन होता है। प्रधानमंत्री को लिखे अपने पत्र में मुख्य कार्याधिकारियों ने थ्रीजी नीलामी और बाद में बुनियादी ढांचे पर हुए निवेश वापस करने की भी मांग की है।  (एजेंसी)

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