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नई दिल्ली : दिल्ली पुलिस ने आज यहां की एक अदालत से कहा कि पूर्व विमान परिचारिका गीतिका शर्मा और उसकी मां के सुसाइड नोट को हरियाणा के पूर्व मंत्री गोपाल कांडा तथा उनकी सहयोगी अरुणा चड्ढा के खिलाफ ठोस साक्ष्य माना जाना चाहिए। कांडा और अरुणा पर गीतिका को आत्महत्या के लिए उकसाने का आरोप है।
जिला न्यायाधीश एसके सरवारिया के समक्ष अपनी दलील में अभियोजन पक्ष ने कहा कि गीतिका के सुसाइड नोट आरोपी के खिलाफ ठोस साक्ष्य हैं। अतिरिक्त सरकारी वकील राजीव मोहन ने कहा कि गीतिका की मां का सुसाइड नोट भी कांडा और अरुणा के दोषी होने की ओर इशारा करता है। गीतिका की मां ने 15 फरवरी को आत्महत्या कर ली थी। हालांकि, कांडा के वकील ने इन दलीलों का विरोध किया।
बहरहाल, अदालत ने आगे की सुनवाई के लिए दो अप्रैल की तारीख मुकर्रर की है। गीतिका पिछले साल पांच अगस्त को अशोक विहार स्थित अपने आवास में मृत हालत में मिली थी। गीतिका ने अपने सुसाइड नोट में कहा था कि वह कांडा और अरुणा की ‘प्रताड़ना’ के चलते अपनी जीवन लीला समाप्त कर रही है।
इसके बाद, गीतिका की मां अनुराधा शर्मा ने भी आत्महत्या कर ली और उन्होंने अपने सुसाइड नोट में आरोप लगाया कि इन दोनों लोगों के चलते उसकी बेटी ने आत्महत्या जैसा कठोर कदम उठाया था। दिल्ली पुलिस ने अपने मुख्य और पूरक आरोप पत्र में कहा है कि गीतिका के प्रति कांडा आसक्त था और वह उसका यौन शोषण करने के लिए उसे अपनी कंपनी में वापस लाना चाहता था। (एजेंसी)