Chhath Puja 2024: भारत के छोटे से भू-भाग में होने वाला यह महापर्व छठ अब ग्लोबल बन चुका है. दुनिया के कई देशों में सूर्य की उपासना के साथ-साथ छठ महापर्व को मनाया जाता है. लेकिन क्या आपको पता है कि इसे ग्लोबल करने में किसका योगदान है?
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Chhath Puja 2024: नहाय खाय की शुरुआत के साथ ही चार दिवसीय छठ पूजा की शुरुआत हो गई है. बिहार, झारखंड और पूर्वी उत्तर प्रदेश के साथ-साथ यह पर्व अब देश के कई हिस्सों में मनाया जाता है. इंटरनेट के इस युग में छठ अब न सिर्फ भारत के कई हिस्सों मनाया जाता है बल्कि दुनिया के कई अन्य देशों में भी इस महापर्व को लोग मना रहे हैं. अगर हम इसे दूसरे शब्दों में कहें तो छठ पर्व 'लोकल से ग्लोबल' हो गया है.
दुनिया के इन देशों में करते हैं छठ की पूजा
अब चूंकि बात लोकल से ग्लोबल की हो रही है तो ऐसे में हमारे लिए यह जानना जरूरी हो गया है कि आखिर किन-किन देशों में इस महापर्व को मनाया जा रहा है. साथ ही इसे लोकल से ग्लोबल करने में किसका और कैसे योगदान है या यूं कहें कि किसका हाथ है वह भी हम जानेंगे.
तो सबसे पहले बताते हैं कि सूर्य उपासना का महापर्व छठ किन-किन देशों में मनाया जाता है. जिन देशों में प्रमुख तौर पर इस महापर्व को मनाया जाता है उसमें नेपाल, मॉरीशस, ऑस्ट्रेलिया, अमेरिका और कनाडा जैसे देश शामिल हैं. इसके अलावा कई और भी देश हैं जहां इस महापर्व को मनाया जाता है.
पलायन के कारण अन्य देश पहुंचा यह पर्व
अब हम बात करते हैं कि आखिर भारत के एक छोटे से भू भाग से निकालकर सूर्य देव की आराधना का यह महापर्व दुनिया के कई देशों में कैसे पहुंचा. इस महापर्व को ग्लोबल करने में जो सबसे पहला माध्यम ध्यान में आता है वह है पलायन या मौके की तलाश में निकले लोग. अगर हम इसे दूसरे शब्दों में कहें तो बेहतर जीवन के लिए दूसरे देश में पहुंचे बिहार, झारखंड और पूर्वी उत्तर प्रदेश के लोग. जो यहां पहुंचकर अपनी संस्कृति और सभ्यता से जुड़े पर्व को वहां के लोगों के बीच पहुंचाया.
इंटरनेट का भी है योगदान
दूसरा माध्यम जो ध्यान में आता है वह है आज का दौर यानि कि इंटरनेट का दौर. इंटरनेट के कारण भी छठ महापर्व को लोकल से ग्लोबल होने में खूब सहायता मिली. ये दो प्रमुख कारण है जिसके कारण आज दुनिया के कई देशों में छठ महापर्व की धूम होती है.