क्रिकेट की दीवार कहे जाने वाले भारत के टेस्ट विशेषज्ञ बल्लेबाज चेतेश्वर पुजारा (Cheteshwar Pujara) ने बताया है कि एक समय ऐसा भी था जब वो अपनी मां के पास जाकर रोने लग जाते थे.
Trending Photos
नई दिल्ली: क्रिकेट की दीवार कहे जाने वाले भारत के टेस्ट विशेषज्ञ बल्लेबाज चेतेश्वर पुजारा (Cheteshwar Pujara) ने बताया है कि एक समय ऐसा भी था जब वो अपनी मां के पास जाकर रोने लग जाते थे. इसके पीछे की वजह बताते हुए पुजारा ने कई और भी बातों का खुलासा किया है.
चेतेश्वर पुजारा (Cheteshwar Pujara) ने कहा कि नकारात्मक विचारों से दूर रहने के लिये वह योग और ध्यान करने के अलावा अपने अध्यात्मिक गुरू से सलाह लेते हैं. उन्होंने कहा ,‘एक समय ऐसा भी था जब मुझे लगता था कि मैं दबाव नहीं झेल पाऊंगा. युवावस्था में अपनी मां के पास जाकर मैं उनके सामने रोता था और कहता था कि इतने दबाव के कारण मैं क्रिकेट नहीं खेल सकूंगा लेकिन अब मैं दबाव झेल लेता हूं.'
पुजारा (Cheteshwar Pujara) ने यूट्यूब पर ‘माइंट मैटर्स’ इंटरव्यू में कहा कि अंतरराष्ट्रीय क्रिकेट में सफलता की कुंजी दबाव को झेलना होती है. उन्होंने कहा ,‘एक बार नकारात्मक सोचने पर सब कुछ नकारात्मक लगने लगता है. मैं योग और ध्यान का सहारा लेता हूं. रोज प्रार्थना करता हूं जिससे सोच सकारात्मक बनी रहती है.’ पुजारा की मां का निधन तब हो गया था जब वह 17 वर्ष के थे. उसके बाद से वह अध्यात्मिक गुरू की सलाह लेते हैं.
चेतेश्वर पुजारा (Cheteshwar Pujara) टेस्ट क्रिकेट में भारत के सबसे भरोसेमंद बल्लेबाजों में से एक हैं. पुजारा ने ऑस्ट्रेलियाई धरती पर मिली दोनों सीरीज जीतों में भारत के लिए सबसे ज्यादा योगदान दिया था. पुजारा ने अब तक अपने टेस्ट करियर में कुल 85 टेस्ट मैच खेले हैं, जिसमें उन्होंने 46 की औसत से 6244 रन बनाए हैं. अपने टेस्ट करियर में उन्होंने 18 शतक ठोके हैं.