बायें हाथ के तेज गेंदबाज जयदेव उनादकट (Jaydev Unadkat) भारतीय क्रिकेट टीम के चयनकर्ताओं की लगातार अनदेखी से निराश नहीं हैं और उन्होंने कहा कि वह हार नहीं मानेंगे.
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नई दिल्ली: बायें हाथ के तेज गेंदबाज जयदेव उनादकट (Jaydev Unadkat) भारतीय क्रिकेट टीम के चयनकर्ताओं की लगातार अनदेखी से निराश नहीं हैं और उन्होंने कहा कि वह हार नहीं मानेंगे और उस खेल को खेलते रहेंगे जिसने उन्हें इतना कुछ दिया है.
उनादकट (Jaydev Unadkat) को ब्रिटिश दौरे के लिए रिजर्व खिलाड़ियों में भी नहीं चुना गया था. यही नहीं वह श्रीलंका में होने वाली सीमित ओवरों की सीरीज के लिए भारत की दूसरे दर्जे की टीम में भी नहीं चुने गए. उन्होंने 2019-2020 रणजी ट्राफी सत्र में रिकार्ड 67 विकेट लेकर सौराष्ट्र को उसका पहला खिताब दिलाया था. इस 29 वर्षीय गेंदबाज ने श्रीलंका दौरे के लिए नजरअंदाज किए जाने के बाद सोशल मीडिया पर अपनी भावनाएं व्यक्त की हैं.
जयदेव उनादकट (Jaydev Unadkat) ने ट्विटर पर लिखा, 'जब मैं बच्चा था तो मैं इस खेल के दिग्गजों को पूरे मनोयोग से खेलते हुए देखकर प्रेरित हुआ और मुझे अपना जुनून मिला. बाद के वर्षों में मैंने स्वयं यह अनुभव हासिल किया.'
उन्होंने कहा, 'इससे भी बढ़कर मैंने उनमें कभी हार नहीं मानने का जज्बा देखा और उसे आत्मसात किया. जब मैं युवा था तो कुछ लोगों ने मुझे गलतियां करने वाला, एक छोटे शहर से आकर बड़े सपने देखने वाला लड़का करार दिया. धीरे-धीरे उनकी धारणा बदल गई. इस कारण मैं भी बदल गया. मैं परिपक्व हो गया. उतार, चढ़ाव, अत्याधिक खुशी, अत्याधिक निराशा. पता नहीं मैं इस खेल के बिना क्या होता.'
जयदेव उनादकट (Jaydev Unadkat) ने कहा, 'इस खेल ने मुझे बहुत कुछ दिया है और एक पल के लिए भी मुझे इस पर पछतावा नहीं है कि मुझे क्यों नहीं चुना गया या मेरा समय कब आएगा या मैंने क्या गलत किया. मुझे पूर्व में मौके मिले और मुझे अब भी मौके मिलेंगे. जब मुझे इन अवसरों को मिलना होगा तो वे मुझे मिलेंगे.' उनादकट ने भारत की तरफ से एक टेस्ट, सात वनडे और 10 टी20 अंतरराष्ट्रीय मैच खेले हैं. उन्होंने राष्ट्रीय टीम की तरफ से अपना आखिरी मैच 2018 में खेला था.
जयदेव उनादकट (Jaydev Unadkat) को श्रीलंकाई दौरे पर ना चुने जाने के बाद लोगों ने सोशल मीडिया पर गुस्सा जाहिर किया है. लोग लगातार इस बात पर सवाल उठा रहे हैं कि उनादकट को टीम में जगह क्यों नहीं मिली. लोगों ने सोशल मीडिया पर तरह-तरह की प्रतिक्रिया दी है.
The only way Jaydev Unadkat should have missed the Sri Lanka bus was if he was in England, at least as part of the reserves. Got to feel for him. Sixty-seven wickets in a Ranji season, much of the wickets on flat decks in Rajkot, is no joke.
— Shashank Kishore (@captainshanky) June 10, 2021
Chetan Sakariya makes the India cut, but long wait continues for Saurashtra captain Jaydev Unadkat.
— Shayan Acharya (@ShayanAcharya) June 10, 2021
Add Jaydev Unadkat to this list too. I don't know how much more does he have to do to break into the squad.
— Hariprasad N (@hariprasadn99) June 11, 2021
Dear Indian selectors,
What more is required for people like Sheldon Jackson and Jaydev Unadkat performing well season after season in domestic cricket to be selected in the Indian national cricket team, at least on tours like SL #INDvSL— vineet jacob (@JacobVineet) June 11, 2021