वसीम जाफर ने उम्र और फिटनेस के आधुनिक मानकों को धता बताते हुए ईरानी ट्रॉफी में दोहरा शतक जड़कर कई रिकॉर्ड्स अपने नाम कर लिए तो तिहरा शतक बनाने से चूकने पर एक अनोखा रिकॉर्ड बनाने से भी चूक गए.
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नई दिल्ली : घरेलू क्रिकेट में अपने बल्ले से रनों का पहाड़ खड़ा करने वाले वसीम जाफर ने उम्र और फिटनेस के आधुनिक मानकों को धता बताते हुए ईरानी ट्रॉफी में दोहरा शतक जड़ शेष भारत एकादश के खिलाफ रणजी विजेता विदर्भ को बेहद मजबूत स्थिति में पहुंचा दिया लेकिन अपने तिहरे शतक से चूक गए. इसके बावजूद 40 बरस के जाफर ने युवा गेंदबाजी आक्रमण की बखिया उधेड़ते हुए शानदार पारी खेलकर कई रिकॉर्ड अपने नाम किए. दाएं हाथ के इस शानदार बल्लेबाज को डोमेस्टिक इंडियन क्रिकेट का 'सचिन तेंदुलकर' कहा जाता है.
जाफर ने 176वां रन पूरा करते ही प्रथम श्रेणी मैचों में अपने 18,000 रन पूरे किए. वह इस विशिष्ट क्लब में शामिल होने वाले छठे भारतीय बल्लेबाज हैं. इसके अलावा जाफर ऐसे पांचवे भारतीय बन गए हैं जिन्होंने 40 साल की अधिक उम्र में दोहरा शतक लगाने का कारनामा किया है.
Batting master-class! Wasim Jaffer celebrates his double century in @paytm #IraniCup #ROIvVID pic.twitter.com/IAJNAUUu5y
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जाफर का यह 242वां प्रथम श्रेणी मैच है तथा उन्होंने लगभग 50 रन प्रति पारी की औसत से रन बनाये हैं. उनके नाम पर 53 शतक और 86 अर्धशतक शामिल हैं. भारतीय बल्लेबाजों में जाफर से पहले सुनील गावस्कर (25,834), सचिन तेंदुलकर (25,396), राहुल द्रविड़ (23,794), वीवीएस लक्ष्मण (19,730) और विजय हजारे (18,740) ने प्रथम श्रेणी मैचों में 18,000 से अधिक रन बनाये थे.
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जाफर की रनसंख्या में भारत की तरफ से खेले गये 31 टेस्ट मैचों में बनाये गये 1944 रन भी शामिल हैं. उन्होंने अपना आखिरी टेस्ट मैच दस साल पहले अप्रैल 2008 में दक्षिण अफ्रीका के खिलाफ कानपुर में खेला था. इससे पहले जाफर ने एक और नया रिकॉर्ड अपने नाम किया. उन्होंने पहले दिन शानदार 166 बॉल में 113 रन बनाकर प्रथम श्रेणी क्रिकेट का 53वां शतक पूरा किया. वे पहले ही शानदार बल्लेबाजी कर अपनी टीम विदर्भ को रणजी ट्रॉफी में भी विजेता बना चुके हैं.
केवल एक रन ही जोड़ पाए एक दिन पहले के स्कोर में
ईरानी ट्रॉफी के दूसरे दिन गुरुवार को दिन का खेल खत्म होने तक विदर्भ ने तीन विकेट खोकर 598 रन बना लिए थे. स्टम्प्स तक जाफर 425 गेंदों में 34 चौके और एक छक्के की मदद से 285 रन बनाकर नाबाद थे लेकिन तीसरे दिन वे टिक नहीं सके और बारिश की वजह से देर से शुरू हुए इस दिन के खेल में तीसरे ओवर में ही अपने खाते में केवल एक रन जोड़ कर 286 रन बनाकर आउट हो गए जिसमें 34 चौके और एक छक्का शामिल था.
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अपने पहले दिन के स्कोर दो विकेट के नुकसान पर 289 रनों से आगे खेलने उतरी रणजी विजेता को जाफर और सतीश ने किसी भी तरह की परेशानी में नहीं पड़ने दिया. जाफर ने 113 रन से आगे खेलना शुरू किया और जब अपनी पारी में 172 रन और जोड़े. वह ईरानी कप में शेष भारत के लिये सर्वोच्च व्यक्तिगत स्कोर बनाने वाले बल्लेबाज बन गए. उन्होंने मुरली विजय का 2012-13 में बनाया 266 रन का रिकार्ड तोड़ा.
Wasim Jaffer becomes the highest scorer ever in #IraniCup #ROIvVID pic.twitter.com/RPP9Dcmequ
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जाफर ने शहबाज नदीम द्वारा फेंके गए 137वें ओवर की पांचवीं गेंद पर अपना दोहरा शतक पूरा किया. इसके लिए उन्होंने 314 गेंदों का सामना किया. जाफर यहीं नहीं रूके और उन्होंने 163वें ओवर की पहली गेंद पर चौका मार अपने 250 रन पूरे किए.
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अपनी इसी पारी में ही ईरानी कप में वसीम जाफर सबसे ज्यादा रन बनाने वाले खिलाड़ी भी हो गए. इस मैच से पहले उनके नाम इस सीरीज के 11 मैचों में 1008 रन हो चुके थे. इसमें 3 शतक भी शामिल हैं. इस लिस्ट में गुंडप्पा विश्वनाथ दूसरे नंबर पर हैं. तीसरे नंबर पर बेंगसरकर और पांचवें नंबर पर सुनील गावस्कर हैं.
The highest run-scorer in @paytm #IraniCup, Wasim Jaffer is now at the crease for Vidarbha #ROIvVID pic.twitter.com/49c5ALF8e7
— BCCI Domestic (@BCCIdomestic) March 14, 2018
इस पारी के दौरान जैसे ही वसीम जाफर ने अपनी फिफ्टी पूरी की. वह ईरानी कप में लगातार 6 हाफ सेंचुरी बनाने वाले गुंडप्पा विश्वनाथ के बाद देश के दूसरे खिलाड़ी हो गए. ईरानी कप में उन्होंने अपने आखिरी पांच पारी में 200*, 80, 88, 71 और 68 के स्कोर बनाए हैं. जबकि आज से 22 साल पहले 18 साल की उम्र में ही उन्होंने मुंबई की ओर से तिहरा शतक लगाया था. शुक्रवार को 286 के स्कोर पर आउट होने के साथ वे अनोखे रिकॉर्ड्स से चूक गए. अगर वे तिहरा शतक लगा देते तो टीनएजर और 40 पार की उम्र में तिहरा शतक लगाने वाले दुनिया के एकमात्र क्रिकेटर हो जाते. इनके अलावा, जाफर ने अपने करियर में 8वीं बार 200 से ज्यादा रन बनाए.
डोमेस्टिक इंडियन क्रिकेट का 'सचिन तेंदुलकर'
गौरतलब है वसीम जाफर का जन्म 16 फरवरी 1978 को हुआ था. दाएं हाथ के इस शानदार बल्लेबाज को डोमेस्टिक इंडियन क्रिकेट का 'सचिन तेंदुलकर' कहा जाता है. अपनी टीम को हमेशा सधी हुई शुरुआत देने वाले वसीम जाफर रणजी ट्रॉफी में सर्वाधिक रन बनाने वाले खिलाड़ी है. इंडियन क्रिकेट टीम में रहकर साल 2000 से 2008 के बीच उन्होंने कुल 31 टेस्ट और 2 वनडे मैच खेले हैं. 31 टेस्ट में वसीम ने 34.10 के एवरेज से 1944 रन बनाए, जबकि दो वनडे में सिर्फ दस रन ही बना पाए.
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साल 2000 में टीम इंडिया में शामिल होकर उन्होंने पहला टेस्ट मैच साउथ अफ्रीका के खिलाफ खेला और आखिरी टेस्ट भी अफ्रीका के खिलाफ ही साल 2008 में खेला. वसीम ने दो वनडे खेले हैं. ये दोनों वनडे उन्होंने साल 2006 में साउथ अफ्रीका के खिलाफ खेलें. वसीम जाफर ने 1996-97 में अपना डेब्यू किया था. टेस्ट क्रिकेट में उन्होंने अपना पहला शतक नागपुर (2006) में लगाया था.
वसीम जाफर घरेलू क्रिकेट के एकमात्र ऐसे खिलाड़ी हैं, जिन्होंने कभी कोई फाइनल मुकाबला नहीं हारा है. वसीम जाफर अब तक 19 रणजी सीजन खेल चुके हैं. 19 में से 9 बार वसीम जाफर अपनी टीम के लिए रणजी फाइनल खेल चुके हैं और हर बार वह इस खिताब को जीतने में कामयाब भी रहे हैं.
(इनपुट भाषा/आईएएनएस)