रोनाल्डो ने खुद को मेसी से बेहतर बताया, कहा- मुझे ज्यादा ‘बैलन डि ओर’ मिलने चाहिए
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रोनाल्डो ने खुद को मेसी से बेहतर बताया, कहा- मुझे ज्यादा ‘बैलन डि ओर’ मिलने चाहिए

क्रिस्टियानो रोनाल्डो और लियोनेल मेसी 5-5 बैलन डि ओर अवॉर्ड (Ballon d'Or awards) जीत चुके हैं. 

पुर्तगाल के क्रिस्टियानो रोनाल्डो इस समय इतालवी क्लब युवेंटस के लिए खेलते हैं. (फोटो: IANS)

नई दिल्ली: फुटबॉल जगत में पिछले 10 साल में अनगिनत चीजें बदलीं, लेकिन एक बात जस की तस है. आज से 10 साल पहले एक बहस जब शुरू होती तो उसका अंत ना होता. आज भी जब यह बहस छिड़ती है तो बिना नतीजे के ही खत्म होती है. यह बहस है पुर्तगाल के क्रिस्टियानो रोनाल्डो (Cristiano Ronaldo) और अर्जेंटीना के लियोनेल मेसी (Lionel Messi) में से बेहतर कौन की. मजेदार बात यह है कि यह बहस सिर्फ फुटबॉल के प्रशंसकों के बीच ही  नहीं होती है. इस बहस में जब-तब रोनाल्डो और मेसी भी कूद जाते हैं. 

क्रिस्टियानो रोनाल्डो इस समय इतालवी क्लब युवेंटस (Juventus) के लिए खेलते हैं. लियोनेल मेसी अर्जेंटीना के हैं. वे स्पेनिश क्लब में बार्सिलोना के लिए खेलते हैं. इन दोनों ही खिलाड़ियों ने पांच-पांच बैलन डि ओर अवॉर्ड (Ballon d'Or awards) जीते हैं. यह अवॉर्ड साल के सर्वश्रेष्ठ फुटबॉलर को दिया जाता है. 

34 साल के रोनाल्डो मानते हैं कि वे और अधिक बैलन डि ओर अवॉर्ड के हकदार हैं. उन्होंने कहा, ‘मेसी की फुटबॉल के इतिहास में अपनी जगह है. लेकिन मुझे लगता है कि मैं छह या सात या आठ बैलन डि ओर अवॉर्ड जीत सकता हूं. अगर ऐसा हुआ तो मुझे खुशी होगी. मैं और ज्यादा बैलन डि ओर अवॉर्ड जीतने का हकदार हूं.’

 

पुर्तगाल के कप्तान ने कहा कि मेसी और वे दोस्त नहीं हैं. लेकिन अर्जेंटीना के इस खिलाड़ी की प्रतिद्वंद्विता की वजह से उनका करियर बेहतर हुआ है. उन्होंने कहा, ‘मेरे उनसे दोस्ताना संबंध नहीं हैं. लेकिन हमने 15 साल एक साथ मैदान पर बिताए हैं. हमें पता है कि उनकी प्रतिद्वंद्विता मुझे और बेहतर खिलाड़ी बनने को प्रेरित करती है. ऐसा ही उनके साथ है. मुझसे प्रतिद्वंद्विता के कारण मेसी और मेहनत करते हैं और मैदान पर बेहतर प्रदर्शन करते हैं.’ 

रोनाल्डो युवेंटस से पहले मैनचेस्टर यूनाइटेड और रियल मैड्रिड के लिए खेल चुके हैं. वे पांच बार चैंपियंस लीग खिताब जीतने वाली टीम के सदस्य रहे हैं. वे अपनी कप्तानी में पुर्तगाल को यूरो चैंपियन भी बना चुके हैं. रोनाल्डो कहते हैं, ‘मैं रिकॉर्ड का पीछा नहीं करता. रिकॉर्ड खुद मेरे पीछे आते हैं. मुझे कामयाबी की आदत हो गई है. मुझे नहीं लगता कि इसमें कुछ बुराई है. मुझे लगता है कि यह अच्छा ही है. यह मुझे प्रेरित करती है. यदि आपके पास किसी चीज की प्रेरणा नहीं है तो अच्छा है कि आप खेलना बंद कर दें.’ 

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