कीड़ों ने किया फ्लाइट पर 'हमला', अमेरिकी राष्‍ट्रपति जो बाइडन को भी हुई दिक्‍कत
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कीड़ों ने किया फ्लाइट पर 'हमला', अमेरिकी राष्‍ट्रपति जो बाइडन को भी हुई दिक्‍कत

बाइडन जब बुधवार की उड़ान के लिए ज्वाइंट बेस एंड्रयूज पहुंचे तो वायुसेना के अधिकारियों के साथ बातचीत के दौरान एक कीट उनकी गर्दन के पीछे आकर बैठ गया.

फाइल फोटो

वाशिंगटन: अमेरिका के राष्ट्रपति जो बाइडन की पहली विदेश यात्रा के लिए ब्रिटेन की यात्रा करने वाले पत्रकारों का चार्टर्ड विमान को कीट ‘सिकाडा’ के चलते उड़ान भरने में सात घंटे की देरी हुई. वाशिंगटन डी.सी. क्षेत्र देश के उन कई हिस्सों में से एक है, जो ब्रूड एक्स सिकाडा के झुंड से प्रभावित है. 

प्रेसीडेन्ट भी नहीं बच पाए

यहां तक ​​कि बाइडन भी इससे बच नहीं पाये. बाइडन जब बुधवार की उड़ान के लिए ज्वाइंट बेस एंड्रयूज पहुंचे तो वायुसेना के अधिकारियों के साथ बातचीत के दौरान एक कीट उनकी गर्दन के पीछे आकर बैठ गया. बाइडन ने तब संवाददाताओं से कहा, 'सिकाडा से सावधान रहें. अभी एक मेरे ऊपर आकर बैठ गया था.'

कई उड़ानों में हुई देर

यह अभी स्पष्ट नहीं है कि सिकाडा ने प्रेस के विमान के यांत्रिकी को कैसे बाधित किया. अन्य मुद्दों की वजह से भी मंगलवार देर रात उड़ान विलंबित हुई. प्रेस के विमान का इंतजाम व्हाइट हाउस की सहायता से किया जाता है और पत्रकारों को उनके खर्च पर ले जाया जाता है.

विश्व मंच पर स्थिति मजबूत करने पर जोर

अमेरिका के राष्ट्रपति जो बाइडन बुधवार को अपने कार्यकाल की पहली विदेश यात्रा पर रवाना हुए. बाइडन अपनी इस यात्रा के दौरान विश्व मंच पर अमेरिका की स्थिति मजबूत करने और यूरोपीय सहयोगियों में विश्वास स्थापित करने को लेकर उत्सुक हैं. बाइडन ने अपनी आठ-दिवसीय यात्रा के लिए व्यापक रूप से एजेंडा तय किया है. उनका मानना है कि पश्चिमी देशों को सार्वजनिक रूप से यह स्पष्ट करना चाहिए कि वे ऐसे में चीन के साथ आर्थिक रूप से प्रतिस्पर्धा कर सकते हैं जब विश्व कोरोना वायरस महामारी से उभर रहा है.

चीन और रूस को लेकर सतर्क

बुधवार को एयर फ़ोर्स वन में सवार होने से पहले बाइडन ने संवाददाताओं से कहा कि यह यात्रा चीन और रूस के नेताओं को यह स्पष्ट करने के लिए है कि अमेरिका और यूरोप ‘‘एकजुट’’ हैं. यात्रा के अंत में रूसी राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन के साथ शिखर सम्मेलन की ओर बढ़ते हुए बाइडन का लक्ष्य यूरोपीय देशों को इसको लेकर आश्वस्त करना होगा कि मास्को की आक्रामकता को विफल करने के लिए अमेरिका को एक बार फिर से एक भरोसेमंद भागीदार के तौर पर देखा जा सकता है. 

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