नई दिल्ली: Nithari Case: देश के चर्चित निठारी कांड मामले में दोषी करार दिए गए आरोपियों को बरी कर दिया है. आरोपी सुरेंद्र कोली और मनिंदर सिंह पंढेर को फांसी होनी थी, लेकिन इलाहाबाद हाईकोर्ट ने न सिर्फ फांसी की सजा रद्द कर दी, बल्कि दोनों को तमाम मामलों से बरी भी कर दिया है. हाईकोर्ट के इस फैसले को सीबीआई सुप्रीम कोर्ट में चुनौती देगी. इससे पहले गाजियाबाद के सीबीआई कोर्ट ने दोनों को फांसी की सजा सुनाई थी.
क्या है मामला
सुरेंद्र कोली पर आरोप है कि वह नोएडा की पंढेर कोठी का केयरटेकर था, जहां लड़कियों को लालच देकर वह कोठी में लाता था. निठारी गांव की करीब 19 लड़कियां गायब हो गई थीं. कोली उनसे दुष्कर्म करता था, फिर उनकी हत्या कर देता था. इसके बाद लाश के टुकड़े कर उन्हें फेंक देता था. इसके बाद 29 दिसंबर, 2006 को निठारी में मोनिंदर सिंह पंढेर की कोठी के पीछे के नाले से 19 कंकाल बरामद किए गए थे. कोली और पंढेर को नोएडा पुलिस ने गिरफ्तार किया. फिर इसे सीबीआई के हवाले किया गया. इस प्रकरण में 16 मुकदमे दर्ज हुए थे.
इस आधार पर किया बरी
इलाहाबाद हाईकोर्ट ने इस मामले में सबूत और गवाह नहीं होने पर दोनों दोषियों को बरी किया है. माना जा रहा है कि अब सीबीआई इस फैसले को सुप्रीम कोर्ट में चुनौती दे सकती है. यदि मुकदमे की पैरवी मजबूती से होती है तो वहां सजा को फिर से बहाल किया जा सकता है. मोनिंदर सिंह पंढेर की वकील मनीषा भंडारी ने बताया, इलाहाबाद हाई कोर्ट ने मनिंदर सिंह पंढेर को दो अपीलों में बरी कर दिया है. उसके खिलाफ कुल 6 मामले थे. कोली को सभी अपीलों में बरी कर दिया है.
ये भी पढ़ें- दिल्ली में एयर पॉल्यूशन पर चिंतित हुए LG, पंजाब-हरियाणा की सरकारों को लिखा खत
Zee Hindustan News App: देश-दुनिया, बॉलीवुड, बिज़नेस, ज्योतिष, धर्म-कर्म, खेल और गैजेट्स की दुनिया की सभी खबरें अपने मोबाइल पर पढ़ने के लिए डाउनलोड करें ज़ी हिंदुस्तान न्यूज़ ऐप.