श्रीनगर: पिछले साल जब जम्मू-कश्मीर में अनुच्छेद 370 के प्रावधानों को बदला गया तो इसी के साथ पहाड़ के इस खूबसूरत हिस्से पर विकास की रौशनी पड़नी शुरू हो गई थी. इस एक साल में कश्मीर के कई दुर्गम इलाकों को सुविधायुक्त बनाए जाने की दिशा में काम हुए हैं.
बुनियादी ढांचा विकसित करने की इस कड़ी में भारत-पाक सीमा पर भी काफी काम हो रहा है. इस सिलसिले में जगमगाने वाला है कश्मीर का माछिल सेक्टर, जहां आजादी के 73 सालों में पहली बार 24 घंटे बिजली मिलने जा रही है.
Grid connected power for Macchil area on #LOC in #AspirationalDistrict #kupwara for first time ever; 2nd milestone in a month after Keran area; New era of development begins for over 25,000 people in 9 Panchayats that received only 3 hour power daily through DG sets; @NITIAayog pic.twitter.com/se1WdVyPWs
— Anshul Garg (@hello_anshul) August 26, 2020
मिलने जा रही है 24 घंटे बिजली
जानकारी के मुताबिक, माछिल सेक्टर कुपवाड़ा जिले के अंतर्गत आता है और केरन के बाद 24 घंटे की बिजली आपूर्ति वाला जिले का दूसरा क्षेत्र बन गया है. वर्तमान में माछिल सेक्टर के 9 गांवों को सीमित समय के लिए बिजली प्रदान की जा रही है,
लेकिन अब सरकार ने सभी गांवों को चौबीस घंटे बिजली देने का फैसला लिया है. एक महीने से भी कम समय में 24 घंटे बिजली आपूर्ति का काम पूरा हो जाएगा.
अब तक DG सेट से मिलती थी बिजली
भारत-पाकिस्तान सीमा पर बुनियादी ढांचा विकसित करने का काम तेजी से चल रहा है, ताकि सीमा पार से घुसपैठ और आतंकवाद जैसी चुनौतियों से बेहतर ढंग से निपटा जा सके. अब तक डीजल जेनरेटर (DG) सेट के माध्यम से इन गांवों को बिजली प्रदान की जा रही थी, मगर अब उन्हें पावर ग्रिड के माध्यम से बिजली मिलेगी. सरकार के इस फैसले से हजारों लोग लाभान्वित होंगे.
मुश्किल है, पर हो जाएगा
माछिल देश का सबसे उत्तरी और कठिन भूभाग है, यहां बिजली के खंभे खड़ा करना मुश्किल काम है. हालांकि, सरकार यह सुनिश्चित करने के लिए सभी उपाय कर रही है कि आवश्यक ढांचा विकसित हो और लोगों को बिजली उपलब्ध कराई जाए.
कोरोना संकट के कारण इस बार संसद के मानसून सत्र में बदल जाएगा काम करने का तरीका
अब बैंकों से 221 करोड़ की धोखाधड़ी आई सामने, CBI ने केस दर्ज कर डाला छापा