नई दिल्लीः सियासत और शोहरत का चोली दामन का साथ है. शोहतर की वजह बदलती रहती है, लेकिन हर वजह के सियासत जुड़ती ही रहती है. ताजा मामला पूर्व भारतीय क्रिकेट कप्तान महेंद्र सिंह धोनी का है. 22 गज की पट्टी पर उन्होंने बेशक खूब शोहरत बटोरी है. कैप्टन कूल नाम से विख्यात रहे हैं.
मैदान पर प्रशंसक ही नहीं विरोधी टीम के खिलाड़ी भी उनकी शान में अपना नेजा (शस्त्र) रखते हैं. तो ऐसी शख्सियत संन्यास ले ले और सियासत की चर्चा में आए, हो ही नहीं सकता.
सिद्धू और गंभीर कर चुके हैं राजनीति का रुख
माही के मामले में देखें तो उनकी रिटायरमेंट को लेकर चर्चाएं जबसे चल पड़ी थीं, तबसे ही सियासत में आने का सुर्रा सोशल मीडिया पर चल निकला था. तर्क दिया जाता है कि एक ताकतवर और कद्दावर शख्सियत हमेशा ही ताकतवर रहना चाहती है.
क्रिकेटर गौतम गंभीर और उससे भी पहले नवजोत सिंह सिद्धू के तौर पर यह सटीक उदाहरण हम देख भी चुके हैं.
ऐसे शुरू हुई सियासत की चर्चा
शनिवार 15 अगस्त को जैसे ही एमएस धोनी ने अंतरराष्ट्रीय क्रिकेट को अलविदा कहा. सोशल मीडिया पर उनको विदाई देने वाली भावुक पोस्ट की भरमार थी.
इसी बीच कुछ ऐसी भी पोस्ट दिख रही थीं जो अब धोनी की अगली पारी को लेकर चर्चा शुरू कर चुकी थीं. अगली पारी यानी कि धोनी की सियासी पारी.
सुब्रहमण्यम स्वामी ने दी सलाह
इस सियासी पारी वाली बात-बहस को और बल मिला जब भाजपा के सांसद सुब्रहमण्यम स्वामी ने भी ऐसा ही कहा. उन्होंने न सिर्फ कहा, बल्कि धोनी को अपनी ओर से सलाह भी दे दी. स्वामी ने ट्वीट करके कहा है कि धोनी को 2024 का लोकसभा चुनाव लड़ना चाहिए.
M. S. Dhoni is retiring from Cricket but not from anything else. His talent-to be able to fight against odds and his inspiring leadership of a team that he has demonstrated in cricket is needed in public life. He should fight in LS General Elections in 2024.
— Subramanian Swamy (@Swamy39) August 16, 2020
भाजपा सांसद सुब्रमण्यम स्वामी ने लिखा, धोनी सिर्फ क्रिकेट से रिटायर हो रहे हैं. जिस तरह की लीडरशिप उन्होंने क्रिकेट में दिखाई वैसी ही पब्लिक लाइफ में भी चाहिए. धोनी को 2024 में लोकसभा चुनाव लड़ना चाहिए.
बीते साल संजय पासवान ने किया था दावा
बीते साल जुलाई में ही भाजपा नेता संजय पासवान ने भी ऐसा ही दावा किया था. पूर्व केंद्रीय मंत्री और भाजपा के वरिष्ठ नेता संजय पासवान ने कहा था कि धोनी भाजपा से जुड़ सकते हैं और इस बारे में काफी लंबे समय से बात चल रही है.
उन्होंने कहा था कि 'इस मुद्दे पर काफी वक्त से बात चल रही है, हालांकि इस पर कोई फैसला धोनी के संन्यास के बाद ही लिया जाएगा. धोनी मेरे परिचित हैं, वह विश्व प्रसिद्ध खिलाड़ी हैं और उन्हें पार्टी के साथ जोड़ने की कोशिशें जारी हैं.
आखिर इस विरोध-विद्रोह में सचिन पायलट ने क्या पाया
धोनी ने जिस तरीके से अलविदा कहा, साबित कर गए हैं कि वे वाकई कैप्टन कूल हैं