नई दिल्लीः बजरंग पूनिया और विनेश फोगाट सहित देश के शीर्ष पहलवान रविवार को विरोध प्रदर्शन के लिए फिर से जंतर मंतर पहुंचे और सरकार से डब्ल्यूएफआई (भारतीय कुश्ती महासंघ) के प्रमुख बृजभूषण शरण सिंह के खिलाफ यौन उत्पीड़न के आरोपों की जांच करने वाली निगरानी समिति की रिपोर्ट को सार्वजनिक करने की मांग की. बड़ी संख्या में पुलिसकर्मियों के बीच पहलवानों ने डब्ल्यूएफआई प्रमुख के खिलाफ प्राथमिकी दर्ज करने की भी मांग की. इन पहलवानों ने इस साल जनवरी में पहली बार धरना प्रदर्शन कर महासंघ को भंग करने की मांग की थी.
सरकार ने रिपोर्ट सार्वजनिक नहीं की
बृजभूषण शरण सिंह ने हालांकि इन आरोपों को खारिज कर दिया था. दिग्गज मुक्केबाज एमएस मेरीकॉम की अध्यक्षता वाली छह सदस्यीय निगरानी समिति ने अप्रैल के पहले सप्ताह में अपनी रिपोर्ट सौंपी थी लेकिन सरकार ने अभी तक इसे सार्वजनिक नहीं किया है. विश्व चैंपियनशिप की पदक विजेता विनेश ने सवाल किया, ‘‘(सरकारी) समिति को अपनी रिपोर्ट पेश करने में कितना समय लगने वाला है. पहले ही तीन महीने हो चुके हैं और हम अब भी उनकी बात सुनने का इंतजार कर रहे हैं. क्या रिपोर्ट तब आएगी जब शिकायत दर्ज कराने वाली लड़कियों की मौत हो जाएगी?’’
जानिए क्या बोले पहलवान
उन्होंने कहा, ‘‘हम सरकार से इस मामले में निष्कर्ष जारी करने के लिए कह कर थक चुके हैं. हमने कनॉट प्लेस के एक पुलिस स्टेशन में शिकायत दर्ज की है और चाहते हैं कि बृजभूषण शरण सिंह के खिलाफ प्राथमिकी दर्ज हो.’’ उन्होंने कहा, ‘‘ हमारा (डब्ल्यूएफआई) चुनाव प्रक्रिया से कोई लेना-देना नहीं है. हम अपने करियर को लेकर अधिक चिंतित हैं. (पेरिस) ओलंपिक करीब है और हम सही दिशा में तैयारी शुरू करना चाहते हैं.’’
12 साल से हैं अध्यक्ष
डब्ल्यूएफआई अध्यक्ष के रूप में 12 साल पूरे कर चुके सिंह ने पुष्टि की है कि वह सात मई को होने वाले डब्ल्यूएफआई चुनाव में शीर्ष पद के लिए दावेदारी पेश नहीं करेंगे. उन्होंने हालांकि संकेत दिया था कि वह राष्ट्रीय महासंघ के अंदर अपने लिए एक भूमिका तलाश करेंगे. विनेश ने कहा, ‘‘आप लोग देख सकते हैं कि इतने गंभीर आरोपों के बावजूद महासंघ कौन चला रहा है. हमारे पास केवल सत्य की शक्ति है, जो मुझे लगता है कि पर्याप्त नहीं है. कम से कम सरकार यौन उत्पीड़न पर कार्रवाई कर सकती है. हम न्याय की मांग कर रहे हैं. हम विरोध जारी रखेंगे.’’
देश के शीर्ष पहलवानों के आरोप लगाने के तीन महीने की अवधि के दौरान, सिंह भारतीय ओलंपिक संघ (आईओए) और सरकार के निरीक्षण पैनल के सामने पेश हुए. कई सूत्रों ने पुष्टि की है कि पहलवान डब्ल्यूएफआई प्रमुख के खिलाफ यौन उत्पीड़न के आरोपों को साबित नहीं कर सके. रियो ओलंपिक की कांस्य पदक विजेता साक्षी मलिक ने कहा, ‘‘हम जंतर-मंतर से नहीं हटेंगे.यह लड़ाई नहीं रुकेगी.’’
उन्होंने कहा,‘‘ लड़कियां (महिला पहलवान) समिति के सामने पेश हुई हैं, लेकिन रिपोर्ट नहीं आई है. महासंघ पहले की तरह चल रहा है, वह अपने राष्ट्रीय टूर्नामेंटों का आयोजन कर रहा है. तो क्या बदल गया है?’’ उन्होंने कहा, ‘‘ जब हमने पहली बार विरोध किया तो हमसे जो वादे किए गए थे, उनमें से एक भी पूरा नहीं किया गया. दो दिन पहले एक नाबालिग समेत सात लड़कियों ने कनॉट प्लेस थाने में शिकायत दर्ज कराई है.
Zee Hindustan News App: देश-दुनिया, बॉलीवुड, बिज़नेस, ज्योतिष, धर्म-कर्म, खेल और गैजेट्स की दुनिया की सभी खबरें अपने मोबाइल पर पढ़ने के लिए डाउनलोड करें ज़ी हिंदुस्तान न्यूज़ ऐप.