Sex Crime के खिलाफ मिस्र में सख्त कानून को मंजूरी, अब रेपिस्ट की खैर नहीं

मिस्र में यौन अपराधियों (Sex Criminals) के खिलाफ कड़े कानून को मंजूरी दे दी गई है. इसका मकसद है कि इस तरह के अपराधों पर लगाम लगाया जा सके.

Written by - Zee Hindustan Web Team | Last Updated : Jul 12, 2021, 04:18 PM IST
  • यौन अपराध पर रोक लगाने के लिए कानून
  • मिस्र में अपराधियों के खिलाफ सख्त कानून
Sex Crime के खिलाफ मिस्र में सख्त कानून को मंजूरी, अब रेपिस्ट की खैर नहीं

नई दिल्ली: यौन अपराधों पर लगाम लगाने के लिए मिस्र (Egypt) की संसद ने एक नए कानून को मंजूरी दे दी है. इस कानून के तरह उन लोगों को सख्त सजा देने का प्रावधान है. जिससे महिलाओं की सुरक्षा को पुख्ता करने की कोशिश की गई है. ये कानून सामाजिक सुधार के लिए अहम माना जा रहा है.

अपराधियों को सबक सिखाने वाला सख्त कानून

इस नए कानून के जरिए अराधियों को सबक सिखाने का प्रयास किया जाएगा. नए कानून से महिलाओं पर ऐसे किसी भी हमले को आपराधिक घटना माना जाएगा, जबकि पहले इस तरह के कई मामलों में सिर्फ बुरा आचरण करार देकर मामूली सजा देने का प्रावधान रखा गया था.

हालांकि अब नए कानून के जरिए मिस्र ने महिलाओं को सशक्त बनाने के लिए बेहतर पहल की है. नए कानून में ऐसे अपराधों के लिए सख्त सजा का प्रावधान किया गया है, निश्चित तौर पर महिलाओं के प्रति यौन शोषण जैसे घिनौने अपराध के बारे में सोचने वालों को भी अब इस कानून का डर सताएगा.

अपराधियों को 5 से 7 साल तक की सजा का प्रवाधान

इस कानून के तहत महिलाओं के खिलाफ यौन अपराध (Sex Crime) को अंजाम देने वालों को कम-से-कम 5 साल और इसके अलावा ऐसे अपराध जहां से किसी भी तरह का कोई हथियार भी बरामद हुआ हो, तो उनमें कम-से-कम 7 जेल के लिए जेल की सजा हो सकती है.

ऐसा कहा जाता है कि यौन हिंसा मिस्र के लिए सामान्य बात है. मिस्र में हुए शोध का कहना है कि देश में हर महिला को जीवन में कम-से-कम एक बार यौन शोषण का सामना करना पड़ता है. मिस्र के शहरों में पिछले साल महिलाओं के खिलाफ हिंसा में जबरदस्त इजाफा देखा गया है.

लोगों ने कानून का दिल खोलकर किया स्वागत

यौन अपराधों के खिलाफ बनाए गए इस नए और सख्त कानून को महिला राजनेताओं और अन्य लोगों ने एक बड़ा कदम बताया और इसका दिल खोलकर स्वागत किया. पिछले साल भी मिस्र की संसद ने एक ऐसे कानून को मंजूरी दी थी, जिसके तहत यौन हिंसा की शिकार महिलाओं को ये अधिकार था कि वो अपनी पहचान गोपनीय रखकर, केस को दर्ज कर सकती हैं.

आपको बता दें, मिस्र में काफी लंबे समय से महिला आंदोलनकारी यौन अपराधों के खिलाफ सजाओं को सख्त करने की मांग करती रही है. ऐसा इसलिए क्योकि उस देश में ऐसा माहौल बन गया कि कोई भी मर्द के जहन में इस अपराध को अंजाम देने के लिए कोई खौफ नहीं है. ऐसे में इस देश की महिलाओं को शर्मिंदगी का सामना करना पड़ता है.

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