इसके अलावा भवन और निर्माण और बागवानी जैसी कुछ उद्योग श्रेणियों के लिए भी आधार को यूएएन से जोड़ने की समयसीमा को 31 दिसंबर 2021 तक के लिए बढ़ाया गया है.
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नई दिल्लीः कर्मचारी भविष्य निधि संगठन (ईपीएफओ) ने पूर्वोत्तर क्षेत्र के सातों राज्यों के लिए भविष्य निधि (पीएफ) रिटर्न को आधार-सत्यापित यूनिवर्सल खाता संख्या (यूएएन) के साथ जमा कराने के अपने आदेश के क्रियान्वयन को 31 दिसंबर, 2021 तक टाल दिया है. इसके अलावा भवन और निर्माण और बागवानी जैसी कुछ उद्योग श्रेणियों के लिए भी आधार को यूएएन से जोड़ने की समयसीमा को 31 दिसंबर 2021 तक के लिए बढ़ाया गया है. इससे पूर्वोत्तर राज्यों के नियोक्ताओं और कुछ उद्योगों को अपने मुलाजिमों के आधार नंबर को पीएफ खातों या यूएएन से जोड़ने के लिए और वक्त मिल सकेगा.
Deadline for Aadhaar linking of UAN extended till 31.12.2021 for Establishments in NORTH EAST and certain class of establishments. Please check the circular here: pic.twitter.com/x4ZSGG5cy1
— EPFO (@socialepfo) September 11, 2021
क्या है सरकार के आदेश में
पिछले सप्ताह जारी ईपीएफओ के आदेश के मुताबिक इलेक्ट्रॉनिक चालान सह प्राप्ति रसीद या पीएफ रिटर्न (ईसीआर) को आधार सत्पापित यूएएन के जरिये जमा कराने की समयसीमा को पूर्वोत्तर क्षेत्र के राज्यों असम, अरुणाचल प्रदेश, मणिपुर, मेघालय, मिजोरम, नगालैंड और त्रिपुरा के लिए 31 दिसंबर, 2021 तक बढ़ा दिया गया है.
इस सेक्टर के लोगों को दी गई है राहत
इसमें यह भी कहा गया है कि दूर दराज के इलाकों या विद्रोह वाले इलाकों में कामगारों के कार्यस्थल में जल्दी-जल्दी होने वाले बदलावों और अन्य समस्याओं को देखते हुए बीड़ी बनाने, भवन और निर्माण कार्यों, चाय, काफी, इलायची, काली मिर्च, पटसन जैसी पौधों से चलने उद्योगों के लिए इलेक्ट्रानिक चालान या पीएफ रिटर्न जमा कराने के वास्ते यूएएन के साथ आधार को जोड़ने की समयसीमा को भी 31 दिसंबर 2021 कर दिया गया है.
पहले सितंबर तक बढ़ाई गई थी मियाद
इससे पहले ईपीएफओ ने सभी अंशधारकों के लिए आधार को यूएएन से जोड़ने की मियाद को एक जून, 2021 से बढ़ाकर एक सितंबर, 2021 किया था. यह इस समयसीमा में दूसरा विस्तार है. हालांकि, यह पूर्वोत्तर के राज्यों और कुछ खास तरह के उद्योगों के लिए ही बढ़ाई गई है.
आधार ई-केवाईसी लाइसेंस के लिए रिजर्व बैंक के पास आवेदन कर सकते हैं
भारतीय रिजर्व बैंक ने कहा है कि गैर-बैंकिंग वित्तीय कंपनियां (एनबीएफसी) और भुगतान प्रणाली परिचालक आधार ई-केवाईसी सत्यापन लाइसेंस के लिए केंद्रीय बैंक के पास आवेदन कर सकते हैं. मई, 2019 में वित्त मंत्रालय ने बैंकिंग कंपनियों को छोड़कर अन्य इकाइयों द्वारा आधार सत्यापन सेवाओं के इस्तेमाल के लिए आवेदन को विस्तृत प्रक्रिया जारी की थी.
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