वित्त मंत्री अरुण जेटली ने लोकसभा में आर्थिक सर्वे पेश कर दिया है. आर्थिक सर्वे 2018 के मुताबिक वित्त वर्ष 2018 में जीडीपी ग्रोथ 6.75 फीसदी रहने का अनुमान है.
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नई दिल्ली: वित्त मंत्री अरुण जेटली ने लोकसभा में आर्थिक सर्वे पेश कर दिया है. आर्थिक सर्वे 2018 के मुताबिक वित्त वर्ष 2018 में जीडीपी ग्रोथ 6.75 फीसदी रहने का अनुमान है. वित्त वर्ष 2019 में जीडीपी ग्रोथ 7-7.5 फीसदी रहने का अनुमान है. अगले वित्त वर्ष में इकोनॉमी में ग्रोथ की उम्मीद है. बेहतर एक्सपोर्ट के सहारे इकोनॉमी में ग्रोथ देखने को मिलेगी. मौजूदा वित्त वर्ष में डायरेक्ट टैक्स कलेक्शन का लक्ष्य हासिल होने की उम्मीद है. क्रूड की बढ़ती कीमत चिंता का विषय है, लेकिन निजी निवेश में तेजी लाने पर फोकस किया जा रहा है. रोजगार, शिक्षा और कृषि पर सरकार का फोकस रहेगा. हालांकि, पेश किए गए सर्वे में भविष्य में महंगाई बढ़ने की आशंका जताई गई है.
GVA ग्रोथ 6.1 फीसदी रहने का अनुमान
वित्त वर्ष 2018 में जीवीए ग्रोथ 6.1 फीसदी रहने का अनुमान है. वित्त वर्ष 2018 में कृषि सेक्टर की ग्रोथ 2.1 फीसदी रहने का अनुमान है. वित्त वर्ष 2018 में इंडस्ट्री की ग्रोथ 4.4 फीसदी रहने का अनुमान है. वित्त वर्ष 2018 में सर्विस सेक्टर की ग्रोथ 8.3 फीसदी रहने का अनुमान है.
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पेट्रोल-डीजल हो सकता है महंगा
आर्थिक सर्वे में मुताबिक, सरकार की सबसे बड़़ी चिंता है क्रूड की बढ़ती कीमतें. रिपोर्ट में आशंका जताई गई है कि आगामी वित्त वर्ष में कच्चे तेल की कीमत में 12 फीसदी का इजाफा हो सकता है. अगर ऐसा होता है तो पेट्रोल और डीजल की कीमतें बढ़ेंगी और इसका सीधा असर महंगाई पर पड़ेगा. विशेषज्ञों का मानना है कि सरकार की आशंका अगर सही होती है तो इंटरनेशनल मार्केट में कच्चे तेल के दाम 75 से 80 डॉलर तक पहुंच जाएंगे. इसका सीधा असर यह पड़ेगा कि भारतीय तेल कंपनियों को भी दाम बढ़ाने होंगे. हालांकि, सरकार इसमें कुछ राहत दे सकती है.