Amazon Invetment in India: केंद्रीय मंत्री पीयूष गोयल ने अमेजन के निवेश को लेकर बड़ा बयान देते हुए कहा कि कंपनी इन्वेस्टमेंट करके भारत पर कोई बहुत बड़ा उपकार नहीं कर रही है. ईकॉमर्स कंपनी की ओर से किया गया निवेश केवल कंपनी का घाटा भरने के लिए है .
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Piyush Goyal on Amazon: ऑनलाइन शॉपिंग का क्रेज बढ़ रहा है. लोग घर बैठे जमकर शॉपिंग कर रहे हैं. अमेजन, फ्लिपकार्ट जैसी तमाम कंपनियां लोगों को ऑनलाइन शॉपिंग के लिए प्लेटफॉर्म उपलब्ध करवा रही है. ईकॉमर्स कंपनियों के बढ़ते चलन के बीच केंद्रीय मंत्री पीयूष गोयल ने अमेजॉन को फटकार लगाई है. पीयूष गोयल ने अमेजन द्वारा भारत में किए जा रहे निवेश पर सवाल उठाए हैं.
Amazon को फटकार
केंद्रीय मंत्री पीयूष गोयल ने अमेजन के निवेश को लेकर बड़ा बयान देते हुए कहा कि कंपनी इन्वेस्टमेंट करके भारत पर कोई बहुत बड़ा उपकार नहीं कर रही है. ईकॉमर्स कंपनी की ओर से किया गया निवेश केवल कंपनी का घाटा भरने के लिए है . उन्होंने अमेजन की भारत में एक अरब डॉलर के निवेश की घोषणा पर बुधवार को सवाल उठाते हुए कहा कि अमेरिकी कंपनी भारतीय अर्थव्यवस्था के लिए कोई बड़ी सेवा नहीं कर रही है, बल्कि देश में हुए नुकसान की भरपाई कर रही है. उन्होंने कहा कि भारत में अमेजन को हुआ भारी घाटा असल में बाजार बिगाड़ने वाली बेहद कम कीमतों पर उत्पादों की बिक्री के तौर-तरीकों को बयां करता है लेकिन यह भारत के लिए अच्छा नहीं है क्योंकि इसका असर करोड़ों छोटे खुदरा विक्रेताओं पर पड़ता है.
छोटे दुकानदारों को नुकसान
गोयल ने भारत में रोजगार और उपभोक्ता कल्याण पर ई-कॉमर्स के शुद्ध प्रभाव पर एक रिपोर्ट जारी करते हुए ई-कॉमर्स कंपनियों के कारोबारी मॉडल को लेकर कई सवाल खड़े किए. उन्होंने कहा, कि जब अमेजन भारत में एक अरब डॉलर का निवेश करने की घोषणा करती है तो हम जश्न मनाते हैं. हम यह भूल जाते हैं कि ये अरबों डॉलर भारतीय अर्थव्यवस्था की बड़ी सेवा या निवेश के लिए नहीं आ रहे हैं. कंपनी को उस साल अपने बही-खाते में एक अरब डॉलर का घाटा हुआ था और उन्हें उस घाटे की भरपाई करनी थी.
छोटे विक्रेताओं को नुकसान
उन्होंने कहा, ई-कॉमर्स क्षेत्र की अर्थव्यवस्था में एक भूमिका है, लेकिन उनकी भूमिका के बारे में बेहद सावधानी और सतर्कता से सोचने की जरूरत है। उन्होंने यह भी कहा कि ई-कॉमर्स कंपनियां छोटे खुदरा विक्रेताओं के अधिक मूल्य और उच्च-मार्जिन वाले उत्पादों को खत्म करती जा रही हैं जबकि छोटी दुकानें इनके दम पर ही जिंदा रहती हैं. मंत्री ने देश में ऑनलाइन खुदरा कारोबार तेजी से बढ़ने पर परंपरागत दुकानों के साथ बड़ा सामाजिक व्यवधान पैदा होने की आशंका भी जताई. उन्होंने पश्चिमी देशों का उदाहरण देते हुए कहा कि यूरोप और अमेरिका ने इस प्रवृत्ति के परिणाम देखे हैं. गोयल ने कहा, कि मैं इस बात से इनकार नहीं करता कि प्रौद्योगिकी अपनी भूमिका निभाएगी. प्रौद्योगिकी सशक्तीकरण, नवाचार, उपभोक्ता जरूरतों को पूरा करने का एक साधन है लेकिन हमें यह भी देखना होगा कि यह व्यवस्थित ढंग से आगे बढ़े. उन्होंने कहा कि हम ऑनलाइन खुदरा विक्रेताओं के बाजार में 27 प्रतिशत की वार्षिक हिस्सेदारी की दौड़ में देश के 10 करोड़ छोटे खुदरा विक्रेताओं के लिए बहुत बड़ी बाधा उत्पन्न नहीं करना चाहते हैं.