सीबीआई ने हैदराबाद की टोटेम इंफ्रास्ट्रक्चर और इसके प्रमोटर्स के खिलाफ मामला दर्ज किया है. इस कंपनी ने 8 विभिन्न बैंकों को 1394 करोड़ रुपये का चूना लगाया है.
Trending Photos
नई दिल्ली : अभी पंजाब नेशनल बैंक घोटाले को लेकर सरकार किसी नतीजे पर नहीं पहुंच पाई है कि एक और बैंक घोटाला सामने आया है. सीबीआई ने हैदराबाद की टोटेम इंफ्रास्ट्रक्चर और इसके प्रमोटर्स के खिलाफ मामला दर्ज किया है. इस कंपनी ने 8 विभिन्न बैंकों को 1394 करोड़ रुपये का चूना लगाया है. यूनियन बैंक के इसमें 313 करोड़ रुपये बताए जा रहे हैं. सीबीआई ने टोटेम के खिलाफ मामला दर्ज करके छानबीन शुरू कर दी है. बताया जा रहा है कि टोटम के संचालक देश से फरार हो चुके हैं.
टोटेम इंफ्रास्ट्रक्चर ने लगाया 1394 करोड़ का चूना
जानकारी के मुताबिक, हैदराबाद की कंपनी टोटेम इंफ्रास्ट्रक्चर ने अलग-अलग 8 बैंकों से 1394.43 करोड़ रुपये का कर्ज लिया था. बैंकों ने 2012 में इस एनपीए (गैर-निष्पादित परिसंपत्ति) में डाल दिया था. बताया जा रहा है कि जब बैंकों से कंपनी पर लोन वापस करने का दबाव बनाया तो कंपनी के संचालक फरार हो गए.
UBI को लगी 313 करोड़ की चपत
सीबीआई ने यूनियन बैंक की शिकायत पर टोटेम कंपनी, उसके प्रोमोटर और निदेशक टोटेमपुडी सलालिथ और टोटेमपुडी कविता के खिलाफ मामला दर्ज किया है. बैंक ने बताया कि उनकी एक डस्ट्रियल ब्रांच से टोटेम कंपनी ने 313 करोड़ का कर्ज लिया था. सीबीआई ने मामला दर्ज करके कंपनी के खिलाफ जांच शुरू कर दी है. चर्चा है कि कंपनी के संचालक फरार हैं. उनके बारे में कहीं कोई सूचना नहीं है.
इनकट टैक्स ने रखा था इनाम
आयकर विभाग द्वारा 2015 में जारी सबसे बड़े टैक्स डिफाल्टरों की सूची में कंपनी का नाम शामिल था और उस पर करीब 400 करोड़ रूपये का कर बकाया था. आयकर विभाग ने 2015 में कंपनी का सुराग देने वाले के लिए 15 लाख रूपये के इनाम की घोषणा करते हुए इसे और अन्य डिफाल्टरों को लापता करार दिया था. अधिकारियों ने कहा कि बैंक ने प्रमोटरों के लापता होने का भी आरोप लगाया था लेकिन जांच एजेंसी ने उनके नए रिहाइशी ठिकाने पर पता लगाया और वहां तलाशी भी ली. उन्होंने कहा कि सीबीआई ने प्रमोटरों को देश छोड़कर जाने से रोकने और उनकी गतिविधियों पर नजर रखने के लिये लुक आउट सर्कुलर भी जारी किया है.
काम के लिए लिया कर्ज निजी खातों में जमा किया
बैंक ने आरोप लगाया कि उसे 313.84 करोड़ रूपये का घाटा हुआ क्योंकि कंपनी को दिया गया कर्ज जून 2012 में एनपीए हो गया. उन्होंने कहा कि बैंकों के संघ की तरफ उनकी कुल देनदारी 1394.43 करोड़ रुपये की है. आरोप लगाया गया कि प्रमोटर ने जिन परियोजनाओं के लिये कर्ज लिया था उनके बजाए दूसरे उद्देश्यों की पूर्ति और प्रमोटरों के व्यक्तिगत खातों में जमा करने के लिये इसका इस्तेमाल किया.
नीरव मोदी के बाद एक और ज्वेलर ने लगाया 14 बैंकों को चूना, 1000 करोड़ लेकर फरार
कनिष्क गोल्ड ने भी करोड़ों डकारे
बैंक घोटाले के अलावा सीबीआई ने कनिष्क गोल्ड प्राइवेट लिमिटेड के संचालकों के खिलाफ भी लुक आउट नोटिस जारी किया है. इस मामले में चेन्नई में दो स्थानों पर छापेमारी भी की गई. आरोप है कि इस कंपनी ने बैंकों को 824.15 करोड़ रुपए का चूना लगाया है.
पीएनबी घोटाला: 11 आरोपियों को 28 मार्च तक न्यायिक हिरासत में भेजा गया
कनिष्क गोल्ड का रजिस्टर्ड ऑफिस तमिलनाडु के चेन्नई में है. इसके प्रोमोटर्स और निदेश भूपेश कुमार जैन और उनकी पत्नी नीता जैन है. बैंकर्स का कहना है कि इन दोनों से पिछले कुछ समय से संपर्क नहीं हो सका है. कनिष्क गोल्ड को लोन देने वालों में स्टेट बैंक ऑफ इंडिया के अलावा निजी और सरकारी 14 बैंक शामिल हैं. 25 जनवरी 2018 को सीबीआई को लिखे एक लेटर में एसबीआई ने आरोप लगाया था कि कनिष्क गोल्ड रिकॉर्ड को बदलने की कोशिश और रातोंरात दुकानें बंद कर रही है.
CBI has registered a case on a complaint filed by Union Bank of India against Totem infrastructure Ltd and its promoter and director Tottempudi Salalith and Tottempudi Kavita. Union Bank of India's Industrial Finance branch had given Rs 313 crores loan.
— ANI (@ANI) 22 मार्च 2018
13,000 करोड़ का पीएनबी घोटाला
बता दें कि हीरा कारोबारी नीरव मोदी और उनके मामा मेहुल चोकसी की नियंत्रण वाली कंपनियों ने पंजाब नेशनल बैंक के कुछ अधिकारियों से साठगांठ कर 13,000 करोड़ रुपये से अधिक के फर्जी एलओयू और साख पत्र प्राप्त किए. घोटाला उजागर होने पर आरोपी भारत से फरार हो गए. सीबीआई ने कंपनी तथा बैंक के कई अधिकारियों को गिरफ्तार किया है और उनसे पूछताछ की जा रही है. इतनी ही नहीं नीरव और मोहुल की करोड़ों की संपत्तियां सरकार अपने कब्जे में ले चुकी है.