UPSC Success Story: दूधिया की बेटी ने कोचिंग फीस देने के लिए पढ़ाया ट्यूशन, पहले बनी IPS फिर IAS
Advertisement
trendingNow12197557

UPSC Success Story: दूधिया की बेटी ने कोचिंग फीस देने के लिए पढ़ाया ट्यूशन, पहले बनी IPS फिर IAS

IAS Anuradha Pal: अनुराधा ने टेक महिंद्रा में काम करना शुरू किया. कुछ समय वहां रहने के बाद, उन्होंने अपनी नौकरी छोड़ दी क्योंकि उन्हें एहसास हुआ कि यूपीएससी ही उनका असली जुनून है.

UPSC Success Story: दूधिया की बेटी ने कोचिंग फीस देने के लिए पढ़ाया ट्यूशन, पहले बनी IPS फिर IAS

IAS Success Story: कुछ लोगों को एक सभ्य जीवन जीने में सक्षम होने के लिए जीवन में भारी संघर्षों का सामना करना पड़ता है, लेकिन वे हार नहीं मानते हैं और अपनी अटूट कड़ी मेहनत, समर्पण और दृढ़ता से सफलता पाकर रहते हैं. ऐसी ही एक मोटिवेशनल सक्सेस स्टोरी है आईएएस अनुराधा पाल की, जिन्होंने अपने जीवन में कठिनाइयों से जूझने के बावजूद यूपीएससी सिविल सेवा परीक्षा में सफलता हासिल की.

हरिद्वार के एक छोटे से गांव के एक साधारण परिवार से आने वाली अनुराधा को बचपन में कई फाइनेंशियल समस्याओं का सामना करना पड़ा. उनके पिता दूध बेचकर परिवार का भरण-पोषण करते थे. 

उन्होंने अपनी स्कूली शिक्षा हरिद्वार के जवाहर नवोदय विद्यालय से की. अनुराधा फिर बैचलर ऑफ टेक्नोलॉजी में पंत विश्वविद्यालय में अपनी कॉलेज की शिक्षा हासिल करने के लिए दिल्ली चली गईं.

इसके बाद उन्होंने टेक महिंद्रा में काम करना शुरू किया. कुछ समय वहां रहने के बाद, उन्होंने अपनी नौकरी छोड़ दी क्योंकि उन्हें एहसास हुआ कि यूपीएससी ही उनका असली जुनून है. बाद में, वह रूड़की के एक कॉलेज में लेक्चरर के रूप में पढ़ाने लगीं और साथ ही यूपीएससी के लिए तैयारी भी की. वह अपनी कोचिंग की फीस भरने के लिए स्टूडेंट्स को ट्यूशन भी पढ़ाती थीं.

यह भी पढ़ें: UPSC Prepration Tips: जॉब के साथ कैसे मैनेज करें पढ़ाई, IFS ऑफिसर से जानिए यूपीएससी की तैयारी के टिप्स

फाइनली, उन्होंने 2012 में अपने पहले अटेंप्ट में AIR 451 के साथ परीक्षा पास की, लेकिन, उनका सपना एक आईएएस बनने का था. इसलिए उन्होंने एक और अटेंप्ट दिया, उन्होंने अपनी तैयारी के दौरान छोटे टारगेट को पाने के लिए अपना टाइम टेबल तैयार किया. इसका नतीजा ये हुआ कि, उन्होंने 2015 में अपने दूसरे अटेंप्ट में 62 एआईआर के साथ यूपीएससी में सफलता हासिल की और आईएएस बन गईं. वह वर्तमान में उत्तराखंड में बागेश्वर की जिलाधिकारी हैं.

यह भी पढ़ें: IIT से ग्रेजुएट, 2 बार क्रैक किया UPSC, पति और भाई दोनों हैं IAS अफसर

Trending news