शारदा सिन्हा की 'तपस्या': तबले-हार्मोनियम के बीच सोया करते बच्चे, रोज करती रही हैं 8 घंटे रियाज
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शारदा सिन्हा की 'तपस्या': तबले-हार्मोनियम के बीच सोया करते बच्चे, रोज करती रही हैं 8 घंटे रियाज

शारदा सिन्हा पिछले कुछ समय से बीमार हैं. वह दिल्ली के एम्स में एडमिट हैं. उनके बेटे अंशुमन सिन्हा ने बताया कि गायिका वेंटिलेटर सपोर्ट पर है. इस बीच पीएम मोदी ने भी उनका हालचाल लिया. शारदा सिन्हा वो लोक गायिका रही हैं जिन्होंने देशभर में विवाह गीत, छठ गीत और लोक गायिकी को फेमस कर दिया. चलिए बताते हैं कैसे वह बन गईं छठ कोकिला.

शारदा सिन्हा का किस्सा

बिहार की बेटी शारदा सिन्हा इस वक्त दिल्ली के एम्स में वेंटिलेटर सपोर्ट पर हैं. उनके चाहने वाले छठी मैया से उनके लिए दुआएं मांग रहे हैं. शारदा सिन्हा, वही लोक गायिका हैं जिन्हें छठ कोकिला कहा जाता है. उन्होंने लोक गायिकी में खूब नाम कमाया और पद्मभूषण से सम्मानित हुईं. लेकिन क्या आप जानते है उन्होंने सालों की तपस्या करके ये नाम कमाया है.

एक किस्सा तो बड़ा मशहूर हैं जिन्हें खुद कई इंटरव्यू में शारदा सिन्हा बताती रही हैं. बिहार के सुपौल के हुलास में जन्मी शारदा अपने परिवार की लाडली हैं. भला हो भी क्यों न, परिवार की मन्नतों के बाद उनका जन्म जो हुआ था. 8 भाइयों की इकलौती बहन शारदा सिन्हा के संगीत के हुनर को उनके पिता ने भांपा था. बेटी का नृत्य और गाने में रुचि देख उन्होंने बचपन से ही बेटी को संगीत सिखाना शुरू कर दिया. 

फेमस होने के बाद भी कॉलेज में बच्चों को नहीं छोड़ा पढ़ाना
शारदा सिन्हा ने भी बीएड और फिर म्यूजिक में पीएचडी की. आगे चलकर समस्तीपुर के कॉलेज में वह प्रोफेसर बन गईं. लेकिन शारदा सिन्हा अपने काम को लेकर भी काफी सख्त थीं. उन्होंने फेमस होने के बाद भी कॉलेज में बच्चों को पढ़ाना नहीं छोड़ा. अब तो वह प्रोफेसर के पद से रियाटर हो चुकी हैं लेकिन अपनी नौकरी के वक्त वह रोजाना 8-8 घंटों का रियाज करती और फिर बच्चों को भी पढ़ाती.

ससुराल ने भी दिया साथ
जब बेगुसराय के ब्रजकिशोर सिन्हा के साथ उनकी शादी हुई तो पिता ने साफ साफ ससुरालवालों से कह दिया था कि उनकी बेटी को संगीत का शौक है. फिर क्या ससुरालवालों ने भी शारदा सिन्हा को सपोर्ट किया. शादी के बाद उन्होंने छठी मैया के गाने से लेकर विवाह गीत तक खूब सीखे और गाकर घर-घर में फेमस हुईं.

बच्चों को दूध पिलाते हुए भी किया रियाज
अब कामकाज के साथ साथ कैसे शारदा सिन्हा ने बच्चों की परवरिश की? इसे लेकर एक इंटरव्यू में खुद उन्होंने बताया था कि वह अपने बच्चों और रियाज को लेकर काफी सख्त रही हैं. वह रोजाना 8-8 घंटों का रियाज करती हैं. उन्हें आज भी याद है कि बेटे अंशुमन और बेटी को तबले और हार्मोनियम के बीच सुलाया करती. फिर कभी कभी अपने आंचल में बेटी को दूध पिलाते हुए भी रियाज करतीं. मगर कभी भी रियाज को छोड़ा नहीं.

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इसी साल हुई पति की मौत
ऐसे में बचपन से ही शारदा सिन्हा के बच्चे भी लोक संगीत से जुड़ गए. उन्हें भी वही संगीत का माहौल मिला. मालूम हो, शारदा सिन्हा के दो बच्चे हैं एक बेटा और एक बेटी. मालूम हो, शारदा सिन्हा इस वक्त एम्स में भर्ती हैं. इसी साल उनके पति ब्रजकिशोर सिन्हा का निधन हो गया था. तब से ही वह सदमे में हैं और अभी उनकी हालत भी नाजुक बनी हुई है.

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