बिहार के टीईटी शिक्षक संघ ने शिक्षा मंत्री प्रो. चंद्रशेखर को लेकर बड़ा ऐलान किया है. टीईटी शिक्षक संघ के प्रदेश अध्यक्ष अमित विक्रम ने बिहार के शिक्षा मंत्री को खोजकर लाने वाले को ईनाम देने की घोषणा की है.
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Bihar Politics: बिहार में इन दिनों शिक्षा मंत्री प्रो. चंद्रशेखर और शिक्षा विभाग के अपर मुख्य सचिव केके पाठक के बीच की तकरार अखबारों की हेडलाइन बन रही है. इस विवाद में नीतीश कुमार ने भी केके पाठक का साथ दिया, जिससे शिक्षामंत्री काफी नाराज बताए जा रहे हैं. करीब 23 दिन से चंद्रशेखर ने शिक्षा विभाग की किसी बैठक में हिस्सा नहीं लिया है. उनकी नाराजगी इस कदर बढ़ गई है कि उन्होंने मंत्रालय आना तक छोड़ दिया है. उनके दफ्तर में चैंबर पर ताला लटका रहता है. इतना ही नहीं उन्होंने निरीक्षण, प्रतिवेदन, एक्शन कार्य से भी उन्होंने दूरी बना ली है.
इस बीच बिहार के टीईटी शिक्षक संघ ने शिक्षा मंत्री प्रो. चंद्रशेखर को लेकर बड़ा ऐलान किया है. टीईटी शिक्षक संघ के प्रदेश अध्यक्ष अमित विक्रम ने बिहार के शिक्षा मंत्री को खोजकर लाने वाले को ईनाम देने का ऐलान किया. उन्होंने एक ट्वीट करके लिखा कि बिहार के शिक्षा मंत्री प्रोफेसर चंद्रशेखर को सही सलामत ढूंढ कर लाने वाले को टीईटी शिक्षक संघ की ओर से 1001 रुपए की नगद राशि पुरस्कार स्वरूप दी जाएगी.
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अमित विक्रम ने लिखा अगर किसी को बिहार के वर्तमान शिक्षा मंत्री को खोज खबर हो तो कृपया मेरे नंबर पर सूचित करें, शिक्षकों की विभिन्न समस्याओं एवं मांगों के संबंध में उनसे मुलाकात करनी है लेकिन पिछले 1 महीने से यह विभाग में आए ही नहीं है. मंत्री और अधिकारी के बीच तनातनी को लेकर नीतीश सरकार की काफी किरकिरी हो रही है. बीजेपी ने इस मामले में सीएम नीतीश कुमार पर निशाना साधा है. बीजेपी के प्रदेश अध्यक्ष सम्राट चौधरी ने कहा कि नीतीश कुमार 2025 तक सीएम बने रहने के लिए मंत्री और अधिकारियों के बीच झगड़ा कराते रहते हैं. उन्होंने कहा कि नीतीश कुमार को शिक्षा विभाग में कामकाज ठप है, लेकिन नीतीश कुमार को कोई मतलब नहीं. उन्होंने कहा कि नीतीश कुमार बस अपनी कुर्सी सुरक्षित रखने के लिए यह सब करा रहे हैं.
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आरजेडी जहां अपने मंत्री प्रो. चंद्रशेखर के साथ खड़ी है, तो वहीं दूसरी ओर लालू यादव के करीबी आरजेडी एमएलसी सुनील सिंह ने केके पाठक का समर्थन किया है. सुनील सिंह ने केके पाठक की तारीफ करते हुए कहा कि वे बहुत कर्तव्यनिष्ठ और ईमानदार अधिकारी हैं. कई राज्यों के सीएम अपने मंत्रियों को टाइट करने के लिए केके पाठक जैसे 5-7 अधिकारी रखते हैं. राजद MLC ने कहा कि एक वक्त उनके पीछे भी कड़क अधिकारी सीके अनिल को लगाया गया था. उन्होंने कहा कि शुरुआत में कई मामलों में सीके अनिल सिंह से उनकी नहीं बनती थी, लेकिन कुछ वक्त बीता तो अनिल सिंह को अहसास हो गया कि सरकार उनका इस्तेमाल कर रही है. इसके बाद हमारी उनके अच्छे बनने लगी.
इनपुट- निषेद