Jharkhand Samachar: झारखंड के डीजीपी नीरज कुमार सिन्हा ने बताया कि 'लगातार चलाए जा रहे नक्सल ऑपरेशन की वजह से नक्सलियों की संख्या में काफी कमी आई है. लेकिन वे तकनीक से लैस हैं इसीलिए उनकी शक्ति ज्यादा हो रही है.'
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Ranchi: झारखंड पुलिस द्वारा लगातार नक्सलियों के खिलाफ ऑपरेशन चलाए जा रहे हैं. हाल ही के दिनों में इन ऑपरेशन में पुलिस को बड़ी सफलता भी हाथ लगी है. पिछले दो दिनों के दौरान सुरक्षाबलों ने दो इनामी नक्सलियों को मार गिराया है.
बता दें कि पुलिस ने 15 जुलाई गुमला जिले के नक्सल प्रभावित कुरुमगढ़ क्षेत्र के जंगल में भाकपा माओवादी के रीजनल कमांडर 15 लाख इनामी बुद्धेश्वर को मुठभेड़ में मार गिराया, तो वहीं दूसरी तरफ 16 जुलाई की रात्रि में खूंटी-चाईबासा जिले के सीमावर्ती क्षेत्र में पीएलएफआई उग्रवादियों के साथ हुई मुठभेड़ में 10 लाख इनामी शनिचरा सुरीन को भी पुलिस ने ढेर कर दिया.
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इधर, झारखंड के डीजीपी नीरज कुमार सिन्हा ने बताया कि 'लगातार चलाए जा रहे नक्सल ऑपरेशन की वजह से नक्सलियों की संख्या में काफी कमी आई है. लेकिन वे तकनीक से लैस हैं इसीलिए उनकी शक्ति ज्यादा हो रही है. आईडी ब्लास्ट उनके लिए एक मजबूत हथियार है क्योंकि नक्सली जहां पर छुपे होते हैं उसके आसपास के इलाके में आईडी लगाया जाता है ताकि कोई भी सुरक्षाकर्मी अगर उस इलाके के अंदर प्रवेश करने की सोचे तो ब्लास्ट में उसके परखच्चे उड़ जाएं.' वहीं, उन्होंने नक्सलियों से आत्मसमर्पण नीति के तहत सरेंडर करने की अपील की है. साथ ही कहा है कि जो नक्सली मुख्यधारा में नहीं जोडते हैं उनका हश्र क्या हो रहा है यह किसी से छुपा नहीं है.
जंगल से बरामद हुए हथियार, जांच करा रही पुलिस
वहीं, नक्सलियों के खिलाफ मुठभेड़ में झारखंड पुलिस को बड़ी सफलता हाथ लगी है, गुमला से कई हथियार भी बरामद किए गए हैं. पुलिस जांच के जरिए पता लगाने की कोशिश कर रही है कि नक्सलियों के पास यह हथियार कहां से आए हैं.