पूर्व सांसद सालखन मुर्मू के अनुसार इसका नाम मरांग बुरु भारत यात्रा है. इसके तहत झारखंड समेत देश के अन्य राज्यों में आदिवासी बहुल इलाके में जनसभा का आयोजन किया जाएगा.
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पारसनाथ : पारसनाथ पहाड़ को बचाने की यात्रा पर निकले सेंगल अभियान के सालखन मुर्मू धनबाद पहुंचे. उनकी यात्रा का नाम मरांग बुरु (पारसनाथ पहाड़) बचाओ भारत यात्रा है. यात्रा की शुरुआत जमशेदपुर से इसी माह 17 जनवरी से हुई थी. यात्रा में सालखन के साथ सुमित्रा मुर्मू भी शामिल हैं. दुमका और गिरिडीह के बाद आज धनबाद पहुंचे यह यात्रा 28 फरवरी तक जारी रखा जाएगा.
धनबाद पहुंची पूर्व सांसद सालखन मुर्मू की यात्रा
पूर्व सांसद सालखन मुर्मू के अनुसार इसका नाम मरांग बुरु भारत यात्रा है. इसके तहत झारखंड समेत देश के अन्य राज्यों में आदिवासी बहुल इलाके में जनसभा का आयोजन किया जाएगा. आदिवासी समाज से कहा जाएगा कि पारसनाथ पहाड़ आदिवासियों के धार्मिक स्थल मरांग बुरु है. सेंगेल अभियान ने पारसनाथ पहाड़ को जैनियों के कब्जे से छुड़ाने का दृढ़ संकल्प लिया है. इस पर पहला अधिकार आदिवासियों का है.
पहाड़ को बेचने का काम कर रही सरकार
पूर्व सांसद सालखन मुर्मू ने कहा कि यह पहाड़ आदिवासियों के लिए राम मंदिर, स्वर्ण मंदिर, मक्का मदीना और वेटिकन सिटी जैसा है जिसे हेमंत सरकार ने बेचने का काम किया है. भारत सरकार को यह लिखकर दिया. इस पर सिर्फ जातियों का अधिकार है. इसके अलावा साल्कन मुर्मू ने हेमंत सोरेन पर आदिवासियों का विरोधी होने का आरोप लगाते हुए कहा कि यह लोग झारखंड की जनता को खतियान आधारित 1932 की नीति पर बरगला कर बेवकूफ बना रहे हैं. इस से अच्छा है कि प्रखंड स्तरीय नियोजन नीति लाया जाए और स्थानीय बेरोजगारों को नौकरी दी जाए.
इनपुट- नितेश मिश्रा
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