दिल्ली हाई कोर्ट ने चिंता जाहिर करते हुए 9 जून को दिल्ली में भूकंप से निपटने की तैयारियों को लेकर आम आदमी पार्टी सरकार और दिल्ली के तीनों नगर निगमों से प्लान मांगा था.
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नई दिल्ली: देश की राजधानी दिल्ली (Delhi) में भूकंप से निपटने के लिए तैयारियों को लेकर दिल्ली हाई कोर्ट (Delhi High Court) ने केजरीवाल सरकार और दिल्ली नगर निगम से नाराजगी जाहिर की है. कोर्ट ने दिल्ली सरकार और नगर निगम को फौरन एक्शन प्लान पर काम करने का आदेश दिया है.
दिल्ली हाई कोर्ट ने कहा, 'आम आदमी पार्टी और सिविक एजेंसी तुरन्त एक्शन प्लान पर काम करें. अपने-अपने एरिया में भूकंप के मद्देनजर इमारतों पर काम और जरूरी कदम उठाएं.'
कोर्ट ने आगे कहा, 'भूकंप किसी का इंतजार नही करता वो आ जाता है. पिछले दो महीने में कई बार भूकंप आये है. इसके मद्देनजर बिना समय बर्बाद किये, राज्य सरकार समेत सभी सिविक एजेंसी अपना अपना काम करें.'
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आपको बता दें कि बीते कुछ महीनों से दिल्ली और आसपास के हिस्सों में लगातार भूकंप के झटके महसूस किये जा रहे हैं. इस मुद्दे पर दिल्ली हाई कोर्ट ने चिंता जाहिर करते हुए 9 जून को दिल्ली में भूकंप से निपटने की तैयारियों को लेकर आम आदमी पार्टी सरकार और दिल्ली के तीनों नगर निगमों से प्लान मांगा था. कोर्ट ने पूछा था कि भूकंप से निपटने के लिए क्या तैयारी है?
वहीं आज हाई कोर्ट में दिल्ली सरकार और सभी सिविक एजेंसी ने हलफनामा दायर कर कहा कि भूकम्प से निपटने के लिए एक्शन प्लान तैयार है और उन्हें तीन साल का वक्त चाहिए. उन्होंने कहा कि पहले हाई राइज बिल्डिंग को चिन्हित कर जरूरी कदम उठाए जाएंगे, फिर लो राइज बिल्डिंग पर काम किया जाएगा. इसी पर हाई कोर्ट नाराज हो गया और कहा कि भूकंप तीन साल का इंतजार नही करता, कभी भी आ सकता। सभी अधिकारी अपना अपना काम करें.
दिल्ली हाई कोर्ट में वकील अर्पित भार्गव ने एक याचिका दायर कर कहा है कि दिल्ली में पिछले दो महीने में कई बार भूकम्प आ चुके है और एक्सपर्ट्स का मानना है कि आगे भी आ सकता है. इस लिहाज से दिल्ली में कई इमारतों की हालत सही नहीं है. इसके अलावा वकील ने कोर्ट से कहा कि साल 2015 से हाई कोर्ट ने भूकंप से संबंधित जितने भी आदेश दिए हैं, उनका आजतक पालन नहीं हुआ.