पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने गुरुवार (25 मई) को कहा कि उन्होंने यहां प्रधानमंत्री के साथ हुई बैठक में ‘राजनीति नहीं विकास पर’ चर्चा की.
Trending Photos
नई दिल्ली: पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने विभिन्न योजनाओं के तहत राज्य की बकाया राशि के भुगतान के लिए गुरुवार (25 मई) को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से मुलाकात की और उनसे आग्रह किया कि वह प्रदेश में अतराई नदी के पानी के घटते प्रवाह का मुद्दा बांग्लादेश के समक्ष उठाएं. मुख्यमंत्री ममता बनर्जी की प्रधानमंत्री के साथ विकास के मुद्दों पर बैठक उसी दिन हुई, जिस दिन पश्चिम बंगाल की राजधानी कोलकाता में भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के एक विरोध-प्रदर्शन ने हिंसक रुख अख्तियार कर लिया, जिसमें पुलिकर्मियों सहित काफी संख्या में लोग घायल हो गए.
बैठक के बाद ममता ने संवाददाताओं से कहा, "प्रधानमंत्री के साथ विकासात्मक मुद्दों पर बातचीत हुई. जुलाई में होने वाले राष्ट्रपति चुनाव को लेकर उनसे कोई बातचीत नहीं हुई." ममता महीने में दूसरी बार राष्ट्रीय राजधानी आईं हैं. वह शुक्रवार (26 मई) को कांग्रेस अध्यक्ष सोनिया गांधी के साथ एक बैठक करेंगी. बैठक के लिए विपक्ष के कई बड़े नेताओं को बुलाया गया है, जिसमें राष्ट्रपति पद के लिए सर्वसम्मति से उम्मीदवार चुनने पर चर्चा होगी.
#Visuals West Bengal CM Mamata Banerjee met PM Narendra Modi and discussed development issues related to the state, earlier today pic.twitter.com/1nIm7oNp6d
— ANI (@ANI_news) May 25, 2017
ममता ने कहा, "राष्ट्रपति संविधान के संरक्षक होते हैं और यह पूरे देश के लिए अच्छा है कि इस पद के लिए हमारे पास सर्वसम्मति से चुना गया कोई उम्मीदवार हो, जैसे ए.पी.जे.अब्दुल कलाम थे." मुख्यमंत्री ने 16 मई को विपक्ष की तरफ से राष्ट्रपति के लिए साझा उम्मीदवार नामित करने को लेकर सोनिया गांधी से बातचीत की थी.
तृणमूल नेता ने कहा, "बकाया 10,500 करोड़ रुपये में से हमें अब तक केवल 2,000 करोड़ रुपये ही मिले हैं. मैंने प्रधानमंत्री को अवगत कराया कि 8,000 करोड़ रुपये अभी भी बकाया हैं. उन्होंने कहा कि वह मुद्दे पर गौर करेंगे."
इससे पहले ममता ने 10 अप्रैल को प्रधानमंत्री मोदी से राशि जारी करने को लेकर मुलाकात की थी.
नदी मुद्दे पर ममता ने कहा, "बांग्लादेश ने अतराई नदी पर एक रबड़ बांध का निर्माण किया है, यही कारण है कि दक्षिणी दिनाजपुर को पानी नहीं मिल पा रहा है. वहीं दूसरी ओर जब बांध से अत्यधिक मात्रा में पानी छोड़ी जाएगी, तो बाढ़ आएगी. इसके कारण हमारे लोगों को भारी परेशानियों का सामना करना पड़ता है."
ममता ने नादिया जिले में चुरनी नदी के मुद्दे को भी उठाया, जो बांग्लादेश से आने वाले प्रदूषकों के कारण प्रदूषित हो रही है. चुरनी माताभंगा नदी की सहायक नदी है, जो बांग्लादेश से निकलती है. उन्होंने कहा कि बांग्लादेश ने आमों पर आयात कर दोगुना कर दिया है, जिसके कारण बंगाल के किसान तनावग्रस्त हैं. उन्होंने कहा, "मैं प्रधानमंत्री से आग्रह करती हूं कि वह मुद्दों को बांग्लादेश के समक्ष उठाएं."
कोलकाता में गुरुवार (25 मई) को हुई हिंसा पर टिप्पणी करते हुए ममता ने भाजपा तथा मार्क्सवादी कम्युनिस्ट पार्टी (माकपा) पर प्रदर्शन की आड़ में हिंसा फैलाने का आरोप लगाया. उन्होंने कहा, "यह भाजपा और माकपा है, जिसने हिंसा फैलाई. लोकतांत्रिक तरीके से प्रदर्शन का मतलब हिंसा का सहारा लेना नहीं है, जो माकपा व भाजपा कर रही है."
भाजपा द्वारा राज्य में कानून व व्यवस्था के खिलाफ मार्च के दौरान हुई हिंसा के दौरान सुरक्षा बलों ने पानी की बौछारों, लाठीचार्ज तथा आंसू गैस के गोलों का इस्तेमाल किया, जबकि भाजपा समर्थकों ने ईंटें फेंकीं. अपने मोबाइल में तस्वीरें व वीडियो दिखाते हुए ममता ने दावा किया कि भाजपा तथा वाम दल के कार्यकर्ताओं ने विरोध मार्च के दौरान पुलिसकर्मियों सहित महिलाओं के साथ मारपीट की. ममता ने कहा, "माकपा तथा भाजपा हिंसा फैलाने की दूसरे से प्रतिस्पर्धा कर रहे हैं. माकपा का अस्तित्व खत्म हो चुका है और इसलिए वह हिंसा के हर तरीके का सहारा ले रही है, वहीं भाजपा भी उसी राह पर चल रही है."