दुनियाभर में आज भी कई ऐसी चीजें हैं. जो लोगों के लिए रहस्य ही बनी हुई हैं. लोगों ने इनका राज जानने की खूब कोशिश की लेकिन सफलता नहीं मिल पाई.
आज हम आपको जिस रहस्यमयी कुंड के बारे में बताने जा रहे हैं, उसका नाम दलाही कुंड (Dalahi Kund) है. ये कुंड झारखंड (Jharkhand) के बोकारो जिले में है. कहा जाता है कि इस कुंड के सामने ताली बजाने पर पानी अपने आप ऊपर उठने लगता है. पानी उठने की प्रक्रिया को देखकर ऐसा लगता है कि जैसे किसी बर्तन में पानी उबल रहा है. ऐसा क्यों होता है, भू-वैज्ञानिक भी आज तक इसका पता नहीं लगा पाए हैं.
बोकारो सिटी से 27 किलोमीटर दूर इस अनोखे कुंड (Dalahi Kund) में नहाने के लिए लोग दूर-दूर से आते हैं. इस कुंड पर कई वैज्ञानिकों ने रिसर्च किया कि आखिर यहां पानी आता कहां से है. इसके बावजूद आज तक इस कुंड के रहस्य से पर्दा नहीं उठ पाया है. लोगों का मानना है कि पानी में जो कोई भी मन्नत मागता है, उसकी सारी मन्नत पूरी हो जाती हैं.
यह कुंड कंक्रीट की दीवारों से घिरा हुआ है. गर्मियों में इस कुंड से पानी ठंडा और सर्दियों में गर्म निकलता है. ऐसा क्यों होता है, यह भी लोगों के लिए आज तक बड़ा रहस्य बना हुआ है. इस कुंड से निकलने वाला पानी जमुई नामक नाले से होता हुआ गर्गा नदी में जाता है. इस जलाशय का पानी एकदम साफ है और ये औषधीय गुण से भरा हुआ है.
दलाही कुंड के पास हर साल मकर संक्रांति पर दलाही कुंड (Dalahi Kund) के पास मेला भी लगता है. जिसमें बहुत दूर-दूर के लोग इस रहस्यमय कुंड में स्नान करने के लिए वहां पहुंचते हैं. दलाही कुंड के पास ही दलाही गोसाईं नाम के देवता का स्थान है. वहां पर हर रविवार को लोग पूजा करने के लिए आते हैं.
लोगों में मान्यता है कि दलाही कुंड (Dalahi Kund) के पानी में नहाने से चर्म रोग दूर हो जाते हैं. भू-वैज्ञानिकों का मानना है कि अगर इस कुंड के पानी में नहाने से चर्म रोग दूर होते हैं तो इसका मतलब ये है कि इसमें गंधक और हीलियम गैस मिली हुई है. हालांकि इस मान्यता पर अभी रिसर्च नहीं हो पाई है.
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