Rajasthan Sessions Court: राजस्थान सेशन कोर्ट ने सजा सुनाई है, पॉक्सो मामलों की विशेष अदालत क्रम-1 महानगर द्वितीय ने नाबालिग से दुष्कर्म करने वाले अभियुक्त मनोज कुमार उर्फ मोनू को बीस साल की सजा सुनाई है. इसके साथ ही अदालत ने अभियुक्त पर सात हजार पांच सौ रुपए का जुर्माना भी लगाया है.
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Rajasthan Sessions Court: राजस्थान सेशन कोर्ट ने कहा कि नाबालिग पीड़िता की सहमति कानून में कोई महत्व नहीं रखती है. इसके साथ ही अदालत ने मेडिकल साक्ष्य और डीएन रिपोर्ट के आधार पर माना कि अभियुक्त ने पीड़िता के साथ दुष्कर्म किया है.
अभियोजन पक्ष की ओर से विशेष लोक अभियोजक मातादीन शर्मा ने बताया कि पीड़िता के पिता ने 4 जनवरी 2021 को मुरलीपुरा पुलिस थाने में रिपोर्ट दर्ज कराई थी. इसमें कहा था कि रात को उसकी नाबालिग बेटी बाहर के कमरे में सो रही थी.
उसकी दादी ने जब रात 12 बजे करीब देखा तो वह कमरे में नहीं मिली. उसकी कॉपी में एक मोबाइल नंबर मिला, जो आरोपी मनोज का था. वे मनोज के घर गए तो उसने पीड़िता को कमरे में छिपा रखा था. वहीं, पीड़िता ने कहा कि मनोज उसे मोटर साइकिल से घर से लाया है और उसके साथ गलत काम किया है. राजस्थान सेशन कोर्ट ने आरोपी को सजा दी है.
पुलिस ने रिपोर्ट पर कार्रवाई करते हुए अभियुक्त को गिरफ्तार कर अदालत में आरोप पत्र पेश किया. वहीं, ट्रायल के दौरान पीड़िता अपने बयानों से मुकर गई और कहा कि अभियुक्त ने उसके साथ कोई गलत काम नहीं किया है, लेकिन कोर्ट ने डीएनए व मेडिकल साक्ष्य में दुष्कर्म की पुष्टि होने पर अभियुक्त को राजस्थान सेशन कोर्ट ने बीस साल कैद व जुर्माने की सजा सुनाई है.
Reporter- Mahesh Pareek