Sankashti Chaturthi date Muhurta: संकष्टी चतुर्थी का शुभारंभ सुबह 6:23 बजे से हो चुका है. इसका समापन 10 फरवरी 2023 को 7:58 तक हो जाएगा. आज के दिन चंद्रोदय का समय रात 8:45 से लेकर 09:18 मिनट निर्धारित है.
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Sankashti Chaturthi date Muhurta: आज पूरे देश में फाल्गुन माह की संकष्टी चतुर्थी का पर्व बड़े ही धूमधाम से मनाया जा रहा है. आज के दिन भगवान गणपति की पूजा करके उन्हें प्रसन्न किया जाता है और साथ ही गणपति महाराज का आशीर्वाद लिया जाता है. धार्मिक मान्यताओं के अनुसार, संकष्टी चतुर्थी का व्रत करने से जीवन के सभी कष्टों को दूर किया जा सकता है.
कहते हैं कि आज के दिन भगवान गणपति से जो कोई भी विशेष प्रार्थना की जाती है, वह अवश्य पूरी होती है. बता दे कि आज के दिन संकष्टी चतुर्थी का शुभारंभ सुबह 6:23 बजे से हो चुका है. इसका समापन 10 फरवरी 2023 को 7:58 तक हो जाएगा. आज के दिन चंद्रोदय का समय रात 8:45 से लेकर 09:18 मिनट निर्धारित है. वैसे तो आज का पूरा दिन ही बेहद शुभ है लेकिन इसके बावजूद कुछ विशेष मुहूर्त के बारे में हम आपको बताते हैं.
सुबह 7.05 बजे से 08.27 बजे तक शुभ का चौघड़िया मुहूर्त रहा. फिर 12.35 बजे से 1.58 बजे तक लाभ का एवं दोपहर 1.58 बजे से 3.21 बजे तक अमृत का चौघड़िया मुहूर्त रहेगा. 4.44 बजे से शाम 6.06 बजे तक शुभ का चौघड़िया रहेगा. इस समय पूजा करने से आपके जीवन की विपदाएं समाप्त हो जाएंगी.
संकष्टी चतुर्थी मुहूर्त (Sankashti Chaturthi 2023 Muhurat)
चतुर्थी तिथि प्रारम्भ - फरवरी 09, 2023 को सुबह 06 बजकर 23 मिनट से
चतुर्थी तिथि समाप्त - फरवरी 10, 2023 को सुबह 07 बजकर 58 मिनट पर
पौराणिक मान्यताओं की मानें तो किसी भी काम की शुरुआत में सबसे पहले प्रथम पूज्य गणपति महाराज जी को नमन किया जाता है. गणपति भगवान के ओमकार स्वरूप को ध्यान में रखते हुए उनसे कष्ट हरने की प्रार्थना की जाती है. आज भी कई लोगों ने गणेश चतुर्थी का व्रत रखा है पर क्या आप जानते हैं कि आज के दिन आप विशेष तरीके से पूजा करके अपने सोए भाग्य को जगा सकते हैं.
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सबसे पहले ब्रह्म मुहूर्त में उठकर नहा-धो लें. गणेश जी के मंदिर में जाएं, यहां गणपति भगवान की पूजा करें और उनका अभिषेक करें. तत्पश्चात आपको फल फूल, वस्त्र, तेल, मिठाई, गुड़ आदि भगवान गणेश को समर्पित करने हैं. इसके बाद ऊपर दिए गए मंत्रों में से किसी एक मंत्र का जाप करीब 1100 बार करना है इससे भगवान गणेश प्रसन्न होंगे और आपको संकष्टी चतुर्थी के व्रत का फल अवश्य मिलेगा.
(Disclaimer: यहां दी गई जानकारी सामान्य मान्यताओं और जानकारियों पर आधारित है. ZEE Rajasthan इसकी पुष्टि नहीं करता है.)