क्रांतिकारी भगत सिंह से कांग्रेस के किसी नेता के नहीं मिलने के जिक्र पर शत्रुघ्न सिन्हा ने पीएम पर निशाना साधते हुए कहा कि आपके भाषण में सच्चाई नहीं है.
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नई दिल्ली: प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के भाषणों पर भाजपा सांसद शत्रुघ्न सिन्हा ने उन्हें आड़े हाथ लेते हुए कहा कि आप सच नहीं हैं. उन्होंने शनिवार (12 मई) को एक के बाद एक किए ट्वीट में पीएम मोदी के भाषण का संदर्भ देते हुए उसकी सच्चाई जाहिर की. क्रांतिकारी भगत सिंह से कांग्रेस के किसी नेता के नहीं मिलने के जिक्र पर शत्रुघ्न सिन्हा ने पीएम मोदी पर निशाना साधते हुए कहा कि आपके भाषण में सच्चाई नहीं है. भाजपा सांसद ने तक्षशिला को बिहार में बताए जाने पर भी पीएम मोदी को आड़े हाथ लिया.
शत्रुघ्न सिन्हा ने ट्वीट करते हुए लिखा, '1. डियर सर, आपने कहा कि कोई कांग्रेस नेता भगत सिंह से मिलने नहीं गया, लेकिन सच्चाई यह है कि जवाहरलाल नेहरू 9 अगस्त 1929 को भगत सिंह से जेल में मिले थे. 2. आपने दो बार 2013 और 2017 में कहा कि तक्षशिला बिहार में है. सच्चाई यह है कि तक्षशिला पाकिस्तान में है, जबकि नालंदा बिहार में...'
Excerpts :
1.Dear Sir. You said no Congress leader went to meet incarcerated Bhagat Singh. Fact is Jawaharlal Nehru met Bhagat Singh in jail on August 9, 1929.
2. You said twice that Takshila is in Bihar (2013 & 2017). Fact is Takshila is in Pakistan, while Nalanda is in Bihar...— Shatrughan Sinha (@ShatruganSinha) May 12, 2018
एक अन्य ट्वीट में उन्होंने लिखा, 'प्रधानमंत्री ने कहा कि नेहरू ने 1962 में हुए भारत-चीन युद्ध के नायक जनरल करिअप्पा को अपमानित किया था, लेकिन हकीकत यह है कि जनरल करिअप्पा भारत-चीन युद्ध शुरू होने से 9 साल पहले 1953 में ही रिटायर हो गए थे. उन्हें 14 जनवरी 1986 को तत्कालीन प्रधानमंत्री और कांग्रेस के महान नेता राजीव गांधी ने 'फील्ड मार्शल' की उपाधि से नवाजा था.'
3. The PM said Nehru humiliated Gen Cariappa, the hero of Indo-China war in 1962. Fact is Gen Cariappa retired in 1953, 9 years before Indo-China war. He was conferred Field Marshall on 14 January 1986 by then PM Shri. Rajiv Gandhi, a great leader of CONGRESS Sir....
— Shatrughan Sinha (@ShatruganSinha) May 12, 2018
एक दूसरे ट्वीट में शत्रुघ्न सिन्हा ने पीएम मोदी को निशाने पर लेते हुए लिखा, 'आपने कहा कि 1948 में बतौर सेना प्रमुख जनरल थिमैया को उस समय के रक्षा मंत्री कृष्ण मेनन ने बेइज्जत किया था, लेकिन वास्तव में मेनन 1957 से 1961 तक रक्षामंत्री रहे. 1948 में रक्षामंत्री बलदेव सिंह थे.'
4. You said that Gen Thimayya was humiliated as Army Chief in 1948 by then Defense Minister Krishna Menon but actually his tenure was from 1957-1961. In 1948 Defense Minister was Baldev Singh. Sir, is your advisors' knowledge of history is so atrocious? Kindly enlighten! Jai Hind
— Shatrughan Sinha (@ShatruganSinha) May 12, 2018
पीएम मोदी ने कर्नाटक में जनरल करिअप्पा और थिमेय्या पर दिया था बयान
बीते 3 मई को कलबुर्गी में एक चुनावी रैली के दौरान कर्नाटक को 'शौर्य की भूमि' बताते हुए पीएम मोदी ने कहा था कि कांग्रेस ने राज्य के कोडागु क्षेत्र के फील्ड मार्शल के.एम. करिअप्पा और जनरल के.एस. थिमैया के साथ भी बुरा व्यवहार किया था. मोदी ने कहा था, "कांग्रेस ने न केवल करिअप्पा के साथ खराब व्यवहार किया, बल्कि इसके प्रधानमंत्री जवाहरलाल नेहरू, थिमैया का भी अपमान करते रहे थे." प्रधानमंत्री ने कहा कि वह कांग्रेस द्वारा जवानों का अनादर करने पर आश्चर्यचकित नहीं हुए क्योंकि हाल ही में 'वंदे मातरम' गाने के के दौरान उनके नेता के अपनी जगह से खड़े नहीं होने की घटना सामने आई है.
पीएम ने कांग्रेस पर लगाया था सैनिकों के बलिदान का सम्मान नहीं करने का आरोप
सितम्बर 2016 में सीमा पार सर्जिकल स्ट्राइक करने वाले जवानों का अपमान करने का आरोप लगाते हुए पीएम मोदी ने कहा था कि कांग्रेस के नेता ने जवानों की सराहना करने के बजाए इस घटना के लिए सबूत मांगा था. मोदी ने कहा था, "कांग्रेस हमारे सैनिकों के बलिदान का सम्मान नहीं करती. जब हमारे सैनिक सर्जिकल स्ट्राइक करते हैं, उनके बेशर्म नेता जवानों की बहादुरी भरी कार्रवाई का सबूत मांगते हैं. वे चाहते हैं कि हमारे सैनिक युद्ध में बंदूक के बजाए कैमरा लेकर जाएं."