'यूपी को दंगे की आग में झोंकना चाहते हैं',राहुल गांधी के हाथरस दौरे पर डिप्टी सीएम ब्रजेश पाठक का निशाना
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'यूपी को दंगे की आग में झोंकना चाहते हैं',राहुल गांधी के हाथरस दौरे पर डिप्टी सीएम ब्रजेश पाठक का निशाना

Rahul Gandhi Hathras Visit: कांग्रेस सांसद राहुल गांधी अचानक हाथरस पहुंचे हैं. बुलगढ़ी गांव में पीड़ित परिवार से मुलाकात करेंगे. राहुल गांधी के अचानक आने से पुलिस प्रशासन में हड़कंप मच गया.

Rahul gandhi hathras Visit

Hathras News: कांग्रेस सांसद राहुल गांधी आज हाथरस पहुंचे हैं. यहां वह बुलगढ़ी गांव में पीड़ित परिवार से मिलेंगे. राहुल गांधी के अचानक आने से पुलिस प्रशासन में हड़कंप मच गया. अचानक राहुल गांधी के आने की सूचना के बाद सरकारी एंबुलेंस,फायर ब्रिगेड की गाड़ियों और जिला के अन्य अधिकारी गांव पहुंचे. करीब 11 बजे तक राहुल गांधी के हाथरस में आने की संभावना है. बहुचर्चित बिटिया कांड के तीन आरोपियों को कोर्ट बरी कर चुका है. कोतवाली चंदपा क्षेत्र के गांव बुलगढ़ी में 2020 मे एक युवती की हत्या हुई थी.

डिप्टी सीएम का राहुल गांधी पर निशाना
वहीं, कांग्रेस सांसद राहुल गांधी के हाथरस जाने को लेकर उपमुख्यमंत्री ब्रजेश पाठक ने निशाना साथा है. डिप्टी सीएम ने वीडियो जारी कहा, "राहुल गांधी, आपमें निराशा का भाव है, आप हताशा के शिकार हैं। आपको पता ही नहीं है कि हाथरस मामले की जांच CBI ने कर दी है. मामला कोर्ट में चल रहा है...आज उत्तर प्रदेश इंफ्रास्ट्रक्चर के मामले में, कानून व्यवस्था के मामले में नंबर 1 राज्य बनने की दिशा में तेजी से आगे बढ़ रहा है. पूरे राष्ट्र में उत्तर प्रदेश की कानून व्यवस्था की चर्चा होती है...जबकि आप उत्तर प्रदेश को अराजकता की आग में, दंगों की आग में झोंकना चाहते हैं, लोगों को भड़काना चाहते हैं. कृपया ऐसा ना करें..."

3 आरोपियों को कोर्ट ने किया बरी
यूपी के हाथरस जिले के बहुचर्चित हाथरस बिटिया कांड के पीड़ित परिवार को सरकार की घोषणा के मुताबिक सरकारी आवास और नोकरी नहीं मिली है. इन घोषणाओं को पूरी करने का मामला न्यायालय में विचाराधीन है. इस केस में दो मार्च 2023 को कोर्ट का फैसला हो चुका है. विशेष न्यायालय एससी एसटी एक्ट की. अदालत ने इस मामले में आरोपी 4 युवकों में से 3 को बरी कर दिया था और एक आरोपी संदीप को आजीवन कारावास तथा 50 हज़ार जुर्माने की सजा सुनाई थी. इस फैसले के बाद से बिटिया पक्ष संतुष्ट नहीं है.

पीड़ित पक्ष का क्या कहना?
बिटिया पक्ष की वकील का कहना था कि वह इस फैसले को लेकर हाईकोर्ट में अपील करेंगे. इसमें कहीं ना कहीं कुछ ना कुछ हुआ है. तब बिटिया की भाभी ने भी कोर्ट के निर्णय पर संतुष्टि नहीं जताई थी. उसका कहना था कि वह चारों की सजा पर ही संतुष्ट होंगे और मृतका की अस्थियों का विसर्जन तभी करेंगे. बिटिया के परिजन भी इस फैसले को लेकर हाईकोर्ट में अपील कर चुके हैं.

2020 का है मामला
आपको बता दें कि 14 सितंबर 2020 को हाथरस के गांव में एक दलित युवती के साथ दरिंदगी हुई थी और उसे जान से मारने की कोशिश हुई थी. इलाज के दौरान युवती ने 29 सितंबर 2020 को अपना दम तोड़ दिया था. इस मामले के गांव के चारों आरोपी युवक जेल भेजे गए थे. सीबीआई ने मामले की जांच करके चारों के खिलाफ चार्जशीट न्यायालय में दाखिल की थी. जिस पर सुनवाई के बाद यह फैसला आया था. सीआरपीएफ की टुकड़ी रोजाना की तरह परिवार की सुरक्षा में रहती है. पीड़ित परिवार घटना के बाद से ही गांव के बाहर सरकारी आवास और सरकारी नौकरी की मांग कर रहा था लेकिन शासन की ओर से अभी तक परिवार को यह मदद नहीं दी गई है.

 

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