Nikah in Islam: इस्लामिक रीति-रिवाजों की अक्सर खूब चर्चा होती है. इस मजहब की मान्यताओं की बात करें तो इस धर्म में शादी यानी निकाह के लिए कई तरह की बंदिशें हैं. मुस्लिम समुदाय के युवक अपनी चचेरी बहन से शादी कर सकते हैं लेकिन सगी बहन के अलावा 5 और ऐसे रिश्ते बताए गए हैं जिनमें शाही करना गुनाह है.
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Islamic marriage rules: शादी किसी भी धर्म में बहुत पवित्र बंधन माना जाता है. इस्लाम में होने वाली शादी यानी निकाह के रिवाज की बात करें तो इस मजहब में चचेरे भाई-बहन के बीच निकाह हो सकता है. दुनिया के सभी देशों में इसकी इजाजत है. इस धर्म को मानने वालों में ऐसे करोड़ों जोड़े होंगे जिन्होंने अपने कजिन से शादी की होगी. एक रिपोर्ट के मुताबिक अरब जगत (Arab World) में शादी-शुदा जोड़ों में से 45-50 फीसदी लोग ऐसे हैं जिन्होंने ऐसा निकाह किया है. वहीं भारत में भी ऐसे कई इस्लामिक कपल होंगे.
कई देशों में परिवार के भीतर शादी को प्राथमिकता
मुस्लिम देशों के साथ मिडिल ईस्ट से लेकर वेस्ट एशिया के कुछ देशों में परिवार के भीतर शादी को प्राथमिकता दी जाती है. ये ऐसी परंपरा है, जिसके पीछे का एक तर्क ये भी है कि मिडिल-ईस्ट के देशों में राजशाही और कबीलाई व्यवस्था आज भी प्रभावी है. ऐसे में इस व्यवस्था को बनाए रखने के लिए परिवार के भीतर ही शादी को अहमियत देने का चलन रहा है. वहीं इस्माल के सबसे पवित्र ग्रंथ कुरान में भी चचेरी बहन से शादी की अनुमति दी गई है.
इन रिश्तों के साथ शादी की सख्त मनाही
वेबसाइट 'इस्लाम ऑनलाइन डॉट नेट' में प्रकाशित एक रिपोर्ट के मुताबिक इस्लाम में सगी बहन के अलावा इन 5 रिश्तों में शादी की मनाही है. इसी साइट पर इस्लामिक सोसायटी ऑफ नॉर्थ अमेरिका के प्रेसिडेंट डॉ. मुजामिल एच. सिद्दिकी द्वारा लिखे आर्टिकिल जिसका शीर्षक है, ‘इस्लामिक व्यू ऑन मैरिइंग कजिन्स’ (Islamic View on Marrying Cousins). इस आर्टिकिल में डॉक्टर सिद्दीकी ने सूरा ए निसा का हवाला देते हुए बताया है कि चचेरी बहन के साथ शादी जायज है. उन्होंने इसके पीछे विस्तार से कुछ तर्क भी दिए हैं. उन्होंने ये भी लिखा है कि चचेरी बहन से शादी की इजाजात न केवल इस्लाम बल्कि दुनिया के कई अन्य धर्मों में भी है.
इस्लाम में सगी बहन के अलावा 5 ऐसे रिश्ते हैं जिनके साथ शादी नहीं की जा सकती है. यानी जिन कुल 6 रिश्तों में निकाह करना गुनाह है उनमें पहला- सगी बहन, दूसरा कोई लड़का अपने पिता की बहन यानी बुआ से शादी नहीं कर सकता. तीसरा- कोई लड़का अपनी मां की बहन यानी मौसी से शादी नहीं कर सकता. चौथा- कोई लड़का अपने भाई की बेटी यानी भतीजी से भी निकाह नहीं कर सकता. पांचवा- कोई लड़का बहन की बेटी यानी भांजी से भी निकाह नहीं कर सकता और छठा- कोई लड़का अपनी दाई मां यानी पालने-पोसने वाली मां से भी शादी नहीं कर सकता है.
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