Abs Exercises At Home: यदि आप एक्सरसाइज नहीं करते हैं तो पेट का ढीला होना या हल्का बाहर निकलना आम बात है. फिजिकल एक्टिविटी की कमी के कारण पेट की मांसपेशियां ढीली होने लगती है. ऐसे में मोटापा नहीं होने पर भी पेट के पास फैट जमा हुआ नजर आता है. यदि आप भी इस समस्या का सामना कर रहे हैं, तो घर पर इन 5 वर्कआउट करना आपके लिए फायदेमंद साबित हो सकता है. इतना ही नहीं रोजाना प्रैक्टिस से आप बिना जिम में पैसा खर्च किए एब्स भी बना सकते हैं-
प्लैंक एक सरल लेकिन बेहद प्रभावी व्यायाम है. यह आपके कोर मांसपेशियों को मजबूत बनाने में मदद करता है. यह वर्कआउट पेट के मसल्स को टाइट करने के साथ शरीर के बैलेंस और इंड्यूरेंस (सहनशीलता) पावर को भी इंप्रूव करता है.
कैसे करें - फर्श पर पेट के बल लेटें और फिर अपने पैरों की उंगलियों और कोहनियों पर अपने शरीर का भार उठाएं. - शरीर को एक सीधी रेखा में रखें. - इस स्थिति में 30 सेकंड से 1 मिनट तक रहें.
सिट-अप्स पेट की मांसपेशियों को टाइट करने के लिए एक क्लासिक एक्सरसाइज है. यह आपकी मिड सेक्शन को मजबूती प्रदान करता है. इसे रोजाना करना से शरीर का स्टेमिना भी बढ़ता है.
कैसे करें - पीठ के बल लेटें, घुटनों को मोड़ें और पैरों को फर्श पर रखें. - अपने हाथों को सिर के पीछे या छाती पर रखें. - ऊपर की ओर उठें और फिर धीरे-धीरे नीचे जाएं.
बाइसिकल क्रंचेस एक प्रभावी व्यायाम है जो पेट के साइड मांसपेशियों को टारगेट करता है. यह एक्सरसाइज एब्स के साथ-साथ हिप्स और थाइज को भी टोन करता है.
कैसे करें - पीठ के बल लेटें और पैरों को हवा में उठाएं. - घुटनों को मोड़ें और एक पैर को सीधा करें. - दूसरे घुटने के पास अपने कंधे को लाएं, जैसे कि आप पैडलिंग कर रहे हों. - इसे दोनों पैरों के लिए दोहराएं.
लेग रेज खासकर निचले पेट की मांसपेशियों को मजबूत बनाने के लिए बहुत फायदेमंद है. यह एक्सरसाइज निचले पेट के लिए विशेष रूप से प्रभावी है और स्थिरता को भी बढ़ाता है.
कैसे करें - पीठ के बल लेटें और दोनों पैरों को सीधा रखें. - धीरे-धीरे अपने पैरों को ऊपर उठाएं और फिर नीचे लाएं.
रशियन ट्विस्ट एक डायनेमिक वर्कआउट है जो पेट की मांसपेशियों को कसने में मदद करता है. यह एक्सरसाइज आपकी पेट की मांसपेशियों को टोन करता है और संतुलन को भी सुधारता है.
कैसे करें - जमीन पर बैठें, घुटनों को मोड़ें और पैरों को थोड़ा ऊपर उठाएं. - अपनी पीठ को थोड़ी सी पीछे झुकाएं. - दोनों हाथों को एक साथ रखें और धीरे-धीरे दाई ओर मोड़ें, फिर बाई ओर
इन वर्कआउट्स को हफ्ते में 3-4 बार करना फायदेमंद होता है. इसके साथ ही, संतुलित आहार और उचित नींद का ध्यान रखना भी जरूरी है. याद रखें, हर व्यक्ति का शरीर अलग होता है, इसलिए अपने शरीर के अनुसार इन वर्कआउट को करें और अगर जरूरत पड़े तो पहले एक्सपर्ट से सलाह लें.
Disclaimer: प्रिय पाठक, हमारी यह खबर पढ़ने के लिए शुक्रिया. यह खबर आपको केवल जागरूक करने के मकसद से लिखी गई है. हमने इसको लिखने में घरेलू नुस्खों और सामान्य जानकारियों की मदद ली है. आप कहीं भी कुछ भी अपनी सेहत से जुड़ा पढ़ें तो उसे अपनाने से पहले डॉक्टर की सलाह जरूर लें.
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