Hubble Telescope Images: हबल टेलीस्कोप को 1990 में लॉन्च किया गया था. यह धरती के वैज्ञानिकों के लिए अंतरिक्ष में मौजूद किसी आंख की तरह है. हबल टेलीस्कोप ने ब्रह्मांड के उन क्षेत्रों के बारे में हमें अहम जानकारी दी, जहां तक पहुंच पाना संभव नहीं. हबल में 7.8-फुट (2.4-मीटर) व्यास वाला प्राइमरी मिरर लगा है. यह दुनिया के सबसे बड़े टेलीस्कोप में से एक है. हबल इकलौता टेलीस्कोप है जिसे अंतरिक्ष में एस्ट्रोनॉट्स के मैनेज करने की खातिर डिजाइन किया गया है. हबल टेलीस्कोप में आज तक हजारों तस्वीरें खींची हैं. उनमें से टॉप 10 फोटो चुन पाना बेहद मुश्किल है. फिर भी आज हम आपको हबल टेलीस्कोप की चुनिंदा तस्वीरें दिखाते हैं.
1995 में, हबल स्पेस टेलीस्कोप ने लगातार 10 दिन तक एक अनोखा प्रयोग किया. वह आसमान के एक अंधेरे हिस्से को निहार रहा था. यह हिस्सा इतना छोटा था कि हाथ में किसी सुई की नोक जैसा दिखेता. वैज्ञानिक यह देखना चाहते थे कि क्या वहां कुछ मिलेगा भी. जब नतीजे आए तो सब हैरान रह गए. उस छोटे से अंधकार में हजारों आकाशगंगाओं का कलेक्शन था, जो विकास के विभिन्न चरणों में थीं. हबल टेलीस्कोप अपनी उस खोज से रातोंरात दुनियाभर में मशहूर हो गया. उस एक खोज ने जिसने पहले से अज्ञात आश्चर्यों से भरे ब्रह्मांड को उजागर किया.
यह दो स्पाइरल आकाशगंगाओं की जोड़ी है जिनका विलय हो रहा है. हर गैलेक्सी से निकलती गैस और तारों की पूंछ के चलते इन्हें 'The Mice' नाम दिया गया. वैसे इन्हें NGC 4676 कहा जाता है.
इस सितारे में विस्फोट होने वाला है, लेकिन कब होगा यह कोई नहीं जानता. हो सकता है अगले साल फट जाए, हो सकता है दसियों हजार साल लगें. एटा कैरिने का द्रव्यमान हमारे सूर्य से लगभग 100 गुना अधिक है जो इसे एक भयानक सुपरनोवा के लिए आदर्श उम्मीदवार बनाता है.
हबल अंतरिक्ष दूरदर्शी द्वारा ली गई इस तस्वीर में रंगीन सुपरनोवा के अवशेष DEM L 190 के टुकड़े स्क्रीन पर उड़ते हुए दिखाई दे रहे हैं.
हबल टेलीस्कोप की इस ऐतिहासिक तस्वीर को 'पिलर्स ऑफ क्रिएशन' या 'सृजन के स्तंभ' कहा जाता है. यह ईगल नेबुला (M16) की तस्वीर है जिसमें गैस और धूल के तीन टावर दिख रहे हैं, हर एक की लंबाई कई प्रकाशवर्ष के बराबर है, यहां कई तारों का जन्म हो रहा है.
तारे अपने अंतिम समय में बेहद अजीब तरीके से घूमते हैं और गर्म गैस के फव्वारे बाहर छोड़ते हैं. हबल की इस फोटो में ग्रहीय नेबुला एनजीसी 7027 एक ज्वेल बग जैसा दिखता है, जो एक चमकदार रंगीन धातुई खोल वाला कीट है.
धरती से काफी दूर स्थित यह तारा काफी कुछ विन्सेंट वान गॉग की प्रसिद्ध पेंटिंग 'स्टाररी नाइट' जैसा दिखता है. अंतरतारकीय धूल की रोशनी छवि के मध्य में स्थित लाल महादानव तारे से आती है, जो 2002 में फ्लैशबल्ब जैसी प्रकाश तरंग देता हुआ प्रतीत हुआ था.
नासा के हबल टेलीस्कोप ने इस फोटो में लगभग 8,000 वर्ष पहले विस्फोटित हुए एक विशाल तारे के फैलते हुए अवशेषों के एक छोटे से हिस्से को आश्चर्यजनक रूप से उजागर किया है. वेल नेबुला नामक यह मलबा सुपरनोवा के सबसे प्रसिद्ध अवशेषों में से एक है.
हबल टेलीस्कोप के लॉन्च की 29वीं एनिवर्सरी पर, एस्ट्रोनॉमर्स ने हबल की मदद से सदर्न क्रैब नेबुला का यह शानदार फोटो लिया. यह नेबुला, जिसे आधिकारिक तौर पर हेन 2-104 के नाम से जाना जाता है, पृथ्वी से कई हजार प्रकाश वर्ष दूर स्थित है.
हबल के इस फोटो में आपको 'ओमेगा सेंटॉरी' दिख रहा है जो लाखों तारों का एक क्लस्टर है. इमेज में अधिकांश तारे पीले-सफेद हैं, हमारे सूर्य की तरह. ये वयस्क तारे हैं जो हाइड्रोजन फ्यूजन से चमक रहे हैं. अपने सामान्य जीवन के अंत में, तारे ठंडे और बड़े हो जाते हैं. ऐसे तारे तस्वीर में नारंगी डॉट्स जैसे दिख रहे हैं.
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