ज्योतिष शास्त्र के अनुसार, कुछ रत्नों को एक साथ नहीं पहनना चाहिए. रत्नों के जानकार मानते हैं कि इन रत्नों को एक साथ पहनने से परेशानियां कम होने की बजाय बढ़ने लगती हैं. साथ ही जीवन में कई तरह की समस्याओं का भी सामना करना पड़ सकता है.
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नई दिल्ली: ज्योतिष शास्त्र के मुताबिक रत्न धारण करने से ग्रहों के अशुभ प्रभाव से मुक्ति मिलती है. हर ग्रह के लिए अलग-अलग रत्न बताए गए हैं. ज्योतिषी कुंडली देखकर रत्न धारण करने की सलाह देते हैं. कुछ रत्न ऐसे भी हैं जिन्हें एक साथ नहीं पहनना चाहिए. दरअसल कुछ रत्नों को एक साथ पहनने से फायदे की जगह नुकसान हो सकता है. ऐसे में जानते हैं कि किन रत्नों को एक साथ नहीं पहनना चाहिए.
-ज्योतिष शास्त्र के मुताबिक अगर कोई व्यक्ति मोती पहना हुआ है तो उसे हीरा, पन्ना, लहसुनिया, नीलम और गोमेद नहीं पहनना चाहिए. दरअसल मोती चंद्रमा के अशुभ प्रभाव को कम करने के लिए मोती धारण किया जाता है. ऐसे में मोती के साथ उपरोक्त रत्नों को पहनने से मानसिक तनाव बढ़ सकता है.
-अगर कोई जातक पन्ना धारण कर रखा है तो उसे भूलकर भी मोती, पुखराज और मूंगा नहीं धारण करना चाहिए. पन्ना बुध का रत्न है. ऐसे में पन्ना के साथ इन रत्नों को धारण करने से बुध प्रभाव नहीं मिलता है. ऐसे में पन्ना के साथ इन रत्नों को धारण करने से धन की हानि की संभावना प्रबल हो जाती है.
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-अगर को व्यक्ति नीलम रत्न धारण कर रखा है तो उसे पुखराज, मोती, माणिक्य और मूंगा नहीं धारण करना चाहिए. नीलम शनि का रत्न है. ऐसे में इसके साथ अन्य रत्न धारण करने से विपरीत प्रभाव पड़ सकता है.
-यदि कोई व्यक्ति लहसुनिया रत्न धारण कर रखा है तो उसे माणिक्य, मूंगा, पुखराज और मोती नहीं धारण करना चाहिए. ज्योतिष शास्त्र के मुताबिक लहसुनिया के साथ पुखराज, माणिक्य, मूंगा और मोती धारण करने से जीवन कई प्रकार की समस्याओं का सामना करना पड़ता है.
(Disclaimer: यहां दी गई जानकारी सामान्य मान्यताओं और जानकारियों पर आधारित है. ZEE NEWS इसकी पुष्टि नहीं करता है.)