Sunspot AR3664 News: AR3664 नाम का सौर कलंक इतना बड़ा है कि उससे सूर्य के कंपन पर असर पड़ रहा है. इसी की वजह से 10 मई को भयानक सौर तूफान आया था.
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Sun's Vibration: सूर्य से उठे भयानक तूफान ने इसी महीने धरती के आसमान को रंग-बिरंगी रोशनी से भर दिया था. जिस सनस्पॉट AR3664 की वजह से सौर तूफान आया था, वह लौट आया है. शौकिया एस्ट्रोनॉमर माइकल कैरर ने इस सनस्पॉट से उठे सोलर फ्लेयर को पकड़ा है. सनस्पॉट AR3664 इतना बड़ा है कि इसने सूर्य की कंपकंपी छुड़ा दी है. वैज्ञानिकों ने पता लगाया है कि इस सनस्पॉट की वजह से सूर्य के वाइब्रेशन पैटर्न में बदलाव हो रहा है. AR3664 असल में कई सनस्पॉट का एक विशाल क्लस्टर है जिसका आकार कई पृथ्वी के बराबर है. 11 वर्षीय सौर चक्र में सनस्पॉट आम बात हैं लेकिन AR3664 अपने आकार के चलते सूर्य के कंपन को प्रभावित कर रहा है. सूर्य की आंतरिक संरचना और दोलनों की स्टडी करने वाले वैज्ञानिकों (हीलियोसीस्मोलॉजिस्ट्स) ने AR3664 वाले इलाके से अजीब कंपन दर्ज किए हैं. जैसे सीस्मिक तरंगों से पृथ्वी की आंतरिक संरचना का पता चलता है, वैसे ही इन वाइब्रेशंस से हमें सूर्य के भीतरी भाग के बारे में जानकारी मिलती है.
AR3664 की वजह से हो रहा कंपन वैज्ञानिकों को हैरान कर रहा है. सनस्पॉट से ही सौर ज्वालाएं उठती हैं और कोरोनल मास इजेक्शन (CME) निकलता है. जब ये पृथ्वी के वायुमंडल से टकराती हैं तो रेडियो कम्युनिकेशन और सैटेलाइट ऑपरेशंस को प्रभावित करती हैं.
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जैसे-जैसे सूर्य घूमेगा, AR3664 को पृथ्वी से सीधा देखा जा सकेगा. ऐसा अगले सप्ताह हो सकता है. तब AR3664 की स्टडी कर वैज्ञानिक बेहतर ढंग से इसके प्रभाव को समझ पाएंगे. इस तरह के महाविशाल सनस्पॉट्स की निगरानी जरूरी है क्योंकि सौर चक्र के जनवरी से अक्टूबर के बीच चरम पर पहुंचने की संभावना है.
Today's X2.9 solar flare likely came from old sunspot region 3664 which was the source of many major X-class solar flares during its previous visit of the earth-facing solar disk and an extreme G5 geomagnetic storm which was the first of its kind in 21 years. The solar flare was… pic.twitter.com/VTf3ri6XP4
— SpaceWeatherLive (@_SpaceWeather_) May 27, 2024
इस महीने की शुरुआत में सनस्पॉट AR3664 की वजह से ही भयानक सौर ज्वालाएं निकली थीं. इनकी वजह से पिछले 20 सालों से भी ज्यादा का सबसे ताकतवर सौर तूफान पृथ्वी से टकराया था. मई के दूसरे हफ्ते में कुल सात सौर तूफान धरती से टकराए. इसके चलते कई इलाकों के आसमान में रंग-बिरंगी रोशनी (ऑरोरा) दिखाई दी.