Hanuma Vihari: रेस्पेक्ट से बढ़कर कुछ भी नहीं.. हनुमा विहारी ने छोड़ी आंध्र रणजी टीम; किए चौंकाने वाले खुलासे
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Hanuma Vihari: रेस्पेक्ट से बढ़कर कुछ भी नहीं.. हनुमा विहारी ने छोड़ी आंध्र रणजी टीम; किए चौंकाने वाले खुलासे

Ranji Trophy: रणजी ट्रॉफी 2023-24 के पहले मैच में कप्तानी करने के बाद हनुमा विहारी ने अचानक कप्तानी छोड़ दी थी. मध्य प्रदेश से क्वार्टर-फाइनल में हारकर आंध्र की टीम मौजूदा रणजी सीजन से बाहर हो गई है. हनुमा विहारी ने कप्तानी छोड़ने को लेकर चौंकाने वाला खुलासा किया है.

Hanuma Vihari: रेस्पेक्ट से बढ़कर कुछ भी नहीं.. हनुमा विहारी ने छोड़ी आंध्र रणजी टीम; किए चौंकाने वाले खुलासे

Hanuma Vihari: रणजी ट्रॉफी का मौजूदा सीजन नॉकआउट मुकाबलों तक पहुंच चुका है. क्वार्टर-फाइनल मैचों में आंध्र का सामना मध्य प्रदेश की टीम से था, जिसमें आंध्र को हार झेलनी पड़ी और टीम का सफर यहीं समाप्त हो गई. इस सीजन के पहले मैच में कप्तानी करने वाले हनुमा विहारी ने अचानक दूसरे मैच से पहले कप्तानी छोड़ने का फैसला किया था. अब उन्होंने इसका खुलासा किया है और बताया है कि उन पर कप्तानी छोड़ने का दबाव डाला गया था. टीम इंडिया के लिए खेल चुके इस बल्लेबाज ने सोशल मीडिया पोस्ट कर आंध्र टीम छोड़ने का ऐलान भी किया है.

हनुमा विहारी ने किया पोस्ट 

हनुमा विहारी ने सोशल मीडिया पोस्ट करते हुए लिखा, 'रणजी ट्रॉफी 2023/24. हमने अंत तक कड़ा संघर्ष किया, लेकिन ऐसा होना तय नहीं था. आंध्र के साथ एक और क्वार्टर हारने से निराश हूं. यह पोस्ट कुछ फैक्ट्स के बारे में है, जिन्हें मैं सामने रखना चाहता हूं. बंगाल के खिलाफ पहले गेम में मैं कप्तान था, उस गेम के दौरान मैं 17वें खिलाड़ी पर चिल्लाया और उसने अपने पिता (जो एक पॉलिटिकल लीडर हैं) से शिकायत की. बदले में उसके पिता ने एसोसिएशन से मेरे खिलाफ कार्रवाई करने के लिए कहा. हालांकि, हमने पिछले साल फाइनलिस्ट बंगाल के खिलाफ 410 रन का पीछा किया था, लेकिन मुझे बिना किसी गलती के कप्तानी से इस्तीफा देने के लिए कहा गया.' 

महसूस हुई शर्मिंदगी... 

पोस्ट में विहारी ने आगे लिखा, 'मैंने व्यक्तिगत तौर पर खिलाड़ी से कभी कुछ नहीं कहा, लेकिन एसोसिएशन ने सोचा कि वह खिलाड़ी उस व्यक्ति से अधिक महत्वपूर्ण है, जिसने पिछले साल अपना शरीर दांव पर लगा दिया और बाएं हाथ से बल्लेबाजी करते हुए पिछले 7 सालों में आंध्र को 5 बार नॉकआउट में पहुंचाया और भारत के लिए 16 टेस्ट खेले. मुझे शर्मिंदगी महसूस हुई, लेकिन इस सीज़न में खेलना जारी रखने का एकमात्र कारण यह था कि मैं खेल और अपनी टीम का सम्मान करता हूं. दुखद बात यह है कि एसोसिएशन का मानना है कि खिलाड़ियों को जो भी वह कहें सुनना पड़ता है और खिलाड़ी उनकी वजह से ही वहां हैं.'

आंध्र के लिए नहीं खेलने का लिया फैसला

हनुमा विहारी ने आगे लिखा, 'मुझे अपमानित और शर्मिंदगी महसूस हुई लेकिन मैंने इसे आज तक व्यक्त नहीं किया है. मैंने फैसला किया है कि मैं आंध्र के लिए कभी नहीं खेलूंगा जहां मैंने अपनी रेस्पेक्ट खो दी है. हां, मुझे टीम से प्यार है. जिस तरह से हम हर सीजन में आगे बढ़ रहे हैं, मुझे वह पसंद है, लेकिन एसोसिएशन नहीं चाहती कि हम आगे बढ़ें.'

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