On this Day: अश्विन के चक्कर में टेस्ट मैच ड्रॉ! क्रिकेट इतिहास में महज दूसरी बार हुआ था ऐसा, फिर भी जीता दिल
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On this Day: अश्विन के चक्कर में टेस्ट मैच ड्रॉ! क्रिकेट इतिहास में महज दूसरी बार हुआ था ऐसा, फिर भी जीता दिल

On this Day: क्रिकेट इतिहास में महज दो बार ही कोई टेस्ट मैच ड्रॉ हुआ है. दिग्गज ऑफ स्पिनर रविचंद्रन अश्विन (R Ashwin) ऐसे ही टेस्ट मैच का हिस्सा रहे. कमाल तो ये कि आखिरी पारी के अंतिम ओवर में उनका रन आउट होना इसकी वजह भी बना.

On this Day: अश्विन के चक्कर में टेस्ट मैच ड्रॉ! क्रिकेट इतिहास में महज दूसरी बार हुआ था ऐसा, फिर भी जीता दिल

On This Day, 26 November : रविचंद्रन अश्विन (Ravichandran Ashwin) की गिनती भारत के दिग्गज खिलाड़ियों में होती है. अपनी फिरकी के दम पर अश्विन ने कई मैचों में टीम इंडिया को जीत दिलाई. हालांकि उनका एक बार रन आउट होना भी फैंस को भूलता नहीं है. वो तारीख 26 नवंबर ही है, जब अश्विन रन आउट हुए और क्रिकेट इतिहास में दूसरी बार कोई टेस्ट मैच ड्रॉ हो गया. हालांकि अश्विन ने फिर भी दिल जीता.  

पहले जड़ा शतक, फिर बल्लेबाजों को दिखाई आंख

वानखेड़े स्टेडियम में 22 नवंबर से ये मुकाबला शुरू हुआ, जो भारत और वेस्टइंडीज के बीच सीरीज का तीसरा और आखिरी टेस्ट मैच था. विंडीज टीम ने अपने टॉप ऑर्डर के कमाल की बदौलत पहली पारी में 590 रन का बड़ा स्कोर खड़ा कर दिया. डैरेन ब्रावो 166 रन बनाकर टॉप स्कोरर रहे. ऑफ स्पिनर रविचंद्रन अश्विन (R Ashwin) ने 5 विकेट झटके. इसके बाद भारत की पहली पारी में भी 482 रन बने. महान सचिन तेंदुलकर (Sachin Tendulkar) शतक से महज 6 रन से चूक गए. अश्विन ने कमाल की बल्लेबाजी की और 103 रन जोड़े, जिन्होंने 180 गेंदों की अपनी पारी में 15 चौके और 2 छक्के जड़े. रवि रामपॉल और मार्लोन सैमुअल्स ने 3-3 विकेट अपने नाम किए. फिर प्रज्ञान ओझा (47 रन देकर 6 विकेट) और अश्विन ने दूसरी पारी में वेस्टइंडीज बैटिंग की कमर तोड़ दी. मेहमान टीम महज 134 रन पर ऑलआउट हो गई जिससे भारत को जीत के लिए 243 रन का टारगेट मिला. 

243 रन का टारगेट और फिर...

भारत ने दूसरी पारी में 2 विकेट खोकर ही 101 रन जोड़ लिए थे, लेकिन फिर विकेट गिरने का सिलसिला ऐसा चला कि आधी टीम 156 रन तक पवेलियन लौट गई. कप्तानी संभाल रहे महेंद्र सिंह धोनी से उम्मीदें थीं लेकिन वह भी 13 रन बनाकर रामपॉल का शिकार हो गए. विराट कोहली छठे नंबर पर आए और उन्होंने 114 गेंदों पर 63 रन जोड़े. विराट जब आउट हुए तो टीम का स्कोर 7 विकेट पर 224 रन था.

क्या हुआ था 26 नवंबर 2011 को?

मुकाबले के आखिरी दिन यानी 26 नवंबर 2011, भारत की आखिरी पारी में 64 ओवर का खेल होना था. 63 ओवर में टीम इंडिया ने 8 विकेट पर 240 रन बना लिए थे. क्रीज पर वरुण आरोन और अश्विन खड़े थे. फिडेल एडवर्ड्स को ओवर के लिए गेंद थमाई गई. शुरुआती 3 गेंदों पर वरुण कोई रन बना पाए. चौथी गेंद पर उन्होंने सिंगल लेकर स्ट्राइक अश्विन को दी. 5वीं गेंद पर कोई रन नहीं बना. आखिरी गेंद पर अश्विन ने लॉन्ग ऑन की तरफ शॉट खेला, 2 रन यानी जीत के लिए दौड़े लेकिन रन आउट. स्टेडियम में सन्नाटा छा गया. भारत को 1 रन मिला और मैच ड्रॉ. क्रिकेट इतिहास में महज दूसरी बार कोई टेस्ट मैच ड्रॉ हुआ. 

प्लेयर ऑफ द मैच और सीरीज बने अश्विन

अश्विन भले ही रन पूरा नहीं कर पाए लेकिन उन्हें मैन ऑफ द मैच चुना गया. उन्होंने मैच में कुल 9 विकेट हासिल किए और शतक भी जमाया. अश्विन को प्लेयर ऑफ द सीरीज भी चुना गया. उन्होंने तब 3 मैचों में कुल 22 विकेट अपने नाम किए थे. भारतीय टीम ने सीरीज 2-0 से अपने नाम की. 

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