Women's T20 World Cup: भारतीय महिला टीम की तेज गेंदबाज शिखा पांडे का कहना है कि फाइनल में टीम को हर विभाग में बेहतर होने की जरूरत थी.
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मेलबर्न: भारतीय महिला क्रिकेट टीम की तेज गेंदबाज शिखा पांडे का मानना है कि महिला टी20 वर्ल्ड कप ( Womens T20 World Cup) के फाइनल में भारत की हार की जह फील्डिंग ही नहीं थी. मेलबर्न क्रिकेट ग्राउंड में खेले फाइनल मुकाबले में वुमन टीम इंडिया ऑस्ट्रेलिया के दिए 185 रन के लक्ष्य का पीछा नहीं कर सकी थी.
इस मैच में रविवार को 86,174 के दर्शकों की रिकॉर्ड संख्या के बीच भारतीय टीम चार बार की चैंपियन टीम को पांचवा खिताब जीतने से रोकने में नाकाम रही. इस मैच में भारतीय टीम केवल 99 रन पर ही सिमट गई जिससे मेजबान टीम ने 85 रन से मात दी.
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शिखा ने कहा, "दबाव कोई बड़ा कारक नहीं था. एक बार आप फील्ड पर जाते हैं तो वहीं के हो जाते हैं. मुझे नहीं लगता की नर्वस होने वाली कोई बात थी. शुरु में अगर आप लय में चल रहे बल्लेबाजों को तोहफे दे देते हैं, तो वे इसका फायदा उठा लेते हैं. मैच किसी भी तरफ जा सकता था, लेकिन उन मौकों को गंवाना हमें महंगा पड़ गया. हमें हर विभाग में बेहतर होने की जररूत थी. बाद केवल फील्डिंग की ही नहीं थी."
इस मैच के पहले ही ओवर में शेफाली वर्मा ने एलीसा हीली का कैच छोड़ दिया था. उस समय हीली 9 रन के निजी स्कोर पर थीं. इसके बाद उन्होंने 37 गेंदों पर 75 रन की पारी खेली थी. हालांकि शेफाली का कैच छोड़ना ही टीम की हार का कारण नहीं थी. उनके अलावा राजेश्वरी गायकवाड़ ने भी बेथ मूनी का कैच छोड़ा था.
वहीं टीम की स्टार बल्लेबाज स्मृति मंधाना का कहना है कि यह आत्म निरीक्षण करने का समय है. हार जीत से ज्यादा असर करती है. टीम को अकेला छोड़ने की जरूरत है जिससे हम सोच सकें कि अगले कुछ सालों में हम बेहतर कैसे हो सकते हैं.
(इनपुट आईएएनएस)