Iran-Israel War: इजरायल का दावा है कि उसने अपने 'ब्रह्मास्त्र' आयरन डोम से करीब 99 प्रतिशत मिसाइलों को नष्ट कर डाला. लेकिन मिडिल ईस्ट में एक दूसरी जंग शुरू होने के आसार नजर आ रहे हैं, जिससे अमेरिका भी टेंशन में हैं. यहां बात इजरायल-ईरान की नहीं हो रही है.
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World Politics: दुनिया यूक्रेन-रूस की जंग से कराह ही रही थी कि इजरायल पर हमास के हमले के बाद एक और जंग छिड़ गई और गाजा करीब-करीब तबाह हो गया. अब एक और जंग शुरू हो गई है. इजरायल पर ईरान ने 330 मिसाइलें और ड्रोन से अटैक कर दिया. इजरायल का दावा है कि उसने अपने 'ब्रह्मास्त्र' आयरन डोम से करीब 99 प्रतिशत मिसाइलों को नष्ट कर डाला. लेकिन मिडिल ईस्ट में एक दूसरी जंग शुरू होने के आसार नजर आ रहे हैं, जिससे अमेरिका भी टेंशन में हैं. यहां बात इजरायल-ईरान की नहीं हो रही है.
पहला हमला कौन करेगा?
इस वक्त दुनिया भर में खलबली मची हुई है. सब जानना चाहते हैं कि रूस या फिर ईरान पहला हमला कौन करेगा? सवाल पूछने की वजह है दो खबरें हैं. पहली खबर रूस से आई जिसमें पुतिन की सेना ने अपनी लंबी दूरी की मिसाइल का सफल परीक्षण किया है. और दूसरी खबर ईरान के बारे में है. दावा है कि ईरान ने अपनी 100 से ज्यादा मिसाइलों और ड्रोन को तैनात कर दिया है. और किसी भी वक्त ईरान की सेना इजरायल पर हमला कर सकती है. कहा जा रहा है कि हमला होना तय है. अगले 24 घंटे में कभी भी हमला करने के लिए और मिसाइल दागने का फैसला हो सकता है. रूस से आई खबर से अमेरिका की चिंता बढ़ाई है.
रूस के मिसाइल परीक्षण से बढ़ीं धड़कनें
रूस ने अपनी लंबी दूरी की मिसाइल का सफल परीक्षण किया है. ये मिसाइल एक महाद्वीप से दूसरे महाद्वीप तक यानी अमेरिका तक भी हमला कर सकती हैं. हालांकि रूस ने इस मिसाइल का नाम नहीं बताया है. पश्चिमी मीडिया का दावा है कि ये रूस की टोपोल मिसाइल है, जो 11 हजार किलोमीटर मार कर सकती है यानी मैसेज सीधे अमेरिका को दिया गया है.
दूसरी जंग शुरू होना तय!
इस मिसाइल पर 6 परमाणु बम लगाए जा सकते हैं मतलब पुतिन कह रहे हैं कि उनके हथियार अभी भी बहुत ताकतवर हैं. रूस का दावा है कि ये मिसाइलें हमेशा तैयार हैं और कुछ मिनटों में हमला कर सकती हैं यानी अमेरिका के लिए हमेशा चुनौती बनी हुई है. ये मिसाइल खतरनाक है, हालांकि रूस ने इसे कहां तैनात किया है, इसकी जानकारी अभी नहीं बताई गई है. फिलहाल रूस और ईरान पर दुनिया की नजरें टिकी हुई हैं. ये दोनों देश अमेरिका के दुश्मन हैं. इन दोनों में से पहले हमला कौन करेगा. हालांकि अमेरिका की सरकार पहली बार ये मान रही है मिडल ईस्ट में दूसरी जंग शुरु होना तय है.