New Criminal Laws: नए कानून में शादी का झांसा देकर संबंध बनाने पर क्या सजा होगी? अब दुष्कर्म के मामलों में लगेगी ये धारा

False promise to marry: एक जुलाई यानी कि आज से न्याय का एक नया युग शुरू होने जा रहा है. किसी महिला को नौकरी का झांसा देकर उसके साथ शारीरिक संबंध बनाना अब रेप की श्रेणी से बाहर है. पढ़ें नए कानून में दुष्कर्म के मामलों में कौनसी धारा लगेगी.

Written by - Ansh Raj | Last Updated : Jul 1, 2024, 08:56 AM IST
New Criminal Laws: नए कानून में शादी का झांसा देकर संबंध बनाने पर क्या सजा होगी? अब दुष्कर्म के मामलों में लगेगी ये धारा

नई दिल्ली, New Criminal Laws: एक जुलाई यानी कि आज से न्याय का एक नया युग शुरू होने जा रहा है. रविवार की रात 12 बजे के बाद से भारत में नया आपराधिक न्याय लागू हो चूका है.  बता दें कि IPC, CRPC, के साथ-साथ 1972 के इंडियन एविडेंस एक्ट को बदलकर उनकी जगह तीन नए कानून भारतीय न्याय संहिता, भारतीय नागरिक सुरक्षा संहिता और भारतीय साक्ष्य अधिनियम लागू होने जा रहे हैं. इस नए कानून के तहत राष्ट्रिय राजधानी दिल्ली में पहला मुकदमा भी दर्ज हो गया है. पढ़िए खबर विस्तार से...

आज से लागू हो रहा आपराधिक न्याय
आज यानी कि 1 जुलाई को पूरे भारत में तीन नए आपराधिक कानून (Criminal Laws) हो गए हैं. इन आपराधिक कानून के लागू होने के बाद देश में कई बड़े बदलाव भारत की आपराधिक न्याय प्रणाली में आ गए हैं. इन तीन नए कानून लागू होने के बाद पुराने कानून समाप्त हो गए हैं. देश में तीन नए आपराधिक कानून लागू होने के बाद, क्रिमिनल केस का फैसला सुनवाई पूरी होने के 45 दिनों के अंदर दिया जाना चाहिए. बता दें कि इस नए कानून में 60 दिनों के अंदर आरोप तय करने का प्रावधान है. 

झांसा देकर शारीरिक संबंध बनाना
यदि कोई व्यक्ति किसी महिला को नौकरी का झांसा देकर, आर्थिक रूप से लालच देकर, या अपनी पोजीशन ऑफ पॉवर का गलत इस्तेमाल करके या फिर शादी का झूठा झांसा देकर (False promise to marry)महिला के साथ शारीरिक संबंध बनाता है, तो इसमें सजा को बढ़ाया गया है. बता दें कि शादी का झूठा झांसा देकर 18 साल से ऊपर की महिला के साथ संबंध बनाना अब दुष्कर्म की श्रेणी में नहीं आएगा. इसके लिए नए कानून में बीएनएस की धारा-69 में अलग अपराध बनाया गया है. आसान भाषा में समझें, तो अगर कोई व्यक्ति किसी भी महिला को शादी का झांसा देकर उसके साथ संबंध बनाता है, तो यह बलात्कार की श्रेणी में नहीं आएगा. 

रेप की नई धारा और सजा का प्रावधान 
एक जुलाई से लागू हुए नए कानून में गैंग रेप और बलात्कार के लिए 63, 64 और 70 धारा में प्रावधान किया गया है. नए कानून के हिसाब से रेप के लिए सेक्शन 63, रेप की सजा के लिए सेक्शन 64 और गैंग रेप की लिए सेक्शन 70 का प्रावधान है. बता दें कि ऐसे में दोषी पाए जाने वाले अपराधियों को दस साल तक की सजा का प्रावधान है. वहीं पुलिस अधिकारी अब से रेप पीड़ितों के ब्यान उसके परिजनों और रिश्तेदारों में मौजूदगी में लेगी. इसके अलावा पीड़िता की मेडिकल रिपोर्ट अब सात दिनों के भीतर पूरी होनी जरुरी है. 
 
पत्नी से जबरदस्ती संबंध...
नए कानून लागू होने के बाद यदि कोई पति अपनी पत्नी से  जबरदस्ती संबंध बनाता है,तो यह रेप की श्रेणी में नहीं आएगा. हालांकि इस कानून को लेकर कई तरह के सवाल उठ रहे हैं, वहीं यह मामला सुप्रीम कोर्ट में विचारधीन है. वहीं 18 साल से कम उम्र की किशोरी के साथ रेप या फिर गैंग रेप के मामलों में फांसी की सजा का प्रावधान है.

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